जानिए कैसा होना चाहिए शादीशुदा जोड़ो का बैडरूम, इन तरीको से बढ़ेगा आपस में प्यार

एक सुखी जीवन में वास्तु शास्त्र का बहुत योगदान है, वास्तु शास्त्र में घर की दिशा से लेकर घर में रखी प्रत्येक वस्तु के बारे में जानकारी दी गयी है की उन्हें कहाँ रखा जाना चाहिए और कहाँ नहीं | वास्तु शास्त्र के नियमो की अनदेखी अक्सर जीवन में दुःख और संताप भर देती है |

वास्तु शास्त्र में नवविवाहित जातको को लेकर भी कई बाते बताई गयी है, आज हम आपको नवविवाहितों के बैडरूम से जुडी महत्वपूर्ण जानकारी देने जा रहे है | यदि आप इन बताई बताई बातो का पालन करते है तो आपके दाम्पत्य जीवन में हमेशा खुशियां बनी रहेगी |

वास्तु शास्त्र के अनुसार उत्तर व उत्तर-पश्चिम दिशा को प्रेम व आकर्षण की दिशा बताया गया है | ऐसे में नव दम्पति को अपने बैडरूम को उत्तर दिशा के कक्ष को ही बनाना चाहिए, इससे रिश्तो में प्रगाढ़ता आती है |

इसके अलावा यह दक्षिण पूर्व दिशा के बारे में बताया गया है, वास्तु के अनुसार दम्पति को दक्षिण पूर्व दिशा में सोना चाहिए | यह शुक्र और अग्नि का वास माना जाता है | इस दिशा में सोने से ऊर्जा व स्फूर्ति में वृद्धि होती है, तथा संतान की चाह भी शीघ्र पूरी होती है |

नवविवाहित जातको को कभी भी उत्तर पूर्व दिशा में नहीं सोना चाहिए, इस दिशा में बेड स्थापित ना करे | वास्तु के अनुसार इस दिशा का स्वामी गुरु बताया गया है और इस दिशा में सोना शारीरिक संबंधो में उत्साह की कमी लाता है | साथ ही ये दाम्पत्य जीवन में नीरसता और आपसी तालमेल में कमी लाता है |

इन बातो का रखे विशेष ख्याल:-

वास्तु के अनुसार बैडरूम में आइना नहीं होना चाहिए, और यदि हो तो रात में उस पर कपडा ढक दे |

बैडरूम में लोहे का फर्नीचर और वृत्ताकार व अर्धचन्द्राकार का फर्नीचर नहीं होना चाहिए |

बैडरूम में बेड दरवाजे के नजदीक नहीं होना चाहिए, इससे मन में अशांति उत्पन्न होती है |

सम्पूर्ण व सुखी आराम के लिए सिर हमेशा दक्षिण दिशा में ही रखना चाहिए |

यदि बैडरूम में ही वाशरूम है तो उसका दरवाजा हमेशा बंद रखने का प्रयास करे |

बैडरूम में राधा कृष्ण और अन्य प्रेमभरी तस्वीरें ही लगाए |

बैडरूम की दीवारों का रंग हमेशा हल्का होना चाहिए | ध्यान रखे लाल व सफ़ेद रंग बैडरूम में शुभ नहीं है |

बैडरूम में हल्की रौशनी का ही प्रयोग करे |a

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