अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में बडी संख्या में विदेशों से जुटेगें छात्र

राजीव शर्मा अलीगढ़: अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में 16 अक्टूबर को आयोजित होने वाले पूर्व छात्रों के सम्मेलन में देश विदेश के पूर्व छात्र बड़ी संख्या में जुटंगे। एल्युमिनाई मीट का उद्घाटन मुख्य अतिथि उ.प्र. के पूर्व पुलिस महानिदेशक श्री रिजवान अहमद जो एएमयू के पूर्व छात्र भी हैं, कैनाडी हाल में करेंगे। यह बात आज एल्युमिनाई अफेयर्स कमेटी के चैयरमैन प्रोफेसर एमएम सूफियान बेग ने पत्रकारों से प्रेसवार्ताके दौरान कही।

उन्होंने बताया कि इनके अलावा विशेष अतिथि के रूप में कानपुर की छात्रपति शाहू जी महाराज यूनीवर्सिटी की कुलपति प्रोफेसर नीलिमा गुप्ता, प्रमुख आर्थोपेडिक सर्जन प्रो. एम फारूख व एम्स नई दिल्ली के प्रख्यात आर्थोपैडिक सर्जन प्रोफेसर शाह आलम खॉन, मौलाना आजाद नेशनल यूनीवर्सिटी हैदराबाद के कुलपति डॉ. मुहम्मद असलम परवेज, भारत सरकार र्के अल्पसंख्यक मंत्रालय में संयुक्त सचिव जे आलम, एमएईएफ के सीईओ एवं सचिव तथा एमएएनएएस नई दिल्ली के चैयरमैन रिजवान उर रहमान तथा दुबई में बसे अप्रवासी भारतीय एवं ईएफएस फैसिलिटीज़ सर्विसेज़ के सीईओ तारिक चौहान जिन्होंने हाल ही में एएमयू को अपना पैतृक घर दान स्वरूप दिया है, ने भी इस मीट में आने की सहमति दे दी है।

प्रो. सूफियान बेग ने बताया कि एल्युमिनाई मीट 2018 में चर्चा का मुख्य बिन्दु विश्वविद्यालय की मान्यता और रैकिंग पर केन्द्रित रहेगा। इसलिए उद्घाटन सत्र के बाद मान्यता और रैकिंग में पूर्व छात्रों की संभावित भूमिका पर पैनल चर्चा होगी। जिसकी अध्यक्षता केन्द्रीय लोक सेवा आयोग के पूर्व अध्यक्ष प्रोफेसर डीपी अग्रवाल करेंगे। पैनलिस्ट के रूप में इनोवेशन काउंसिल एण्ड इनक्यूबेशन सेंटर एएमयू के अध्यक्ष प्रो. एस इम्तियाज़ हसनैन, रैकिंग कमेटी के चैयरमैन प्रो. सालिम बेग एएमयू एल्युमिनाई अफेयर्स कमेटी के चैयरमैन प्रो. एमएम सुफियान बेग व आईक्यूएसी के निदेशक प्रोफेसर एम रिजवान खॉन भाग लेंगे।

प्रो. बेग ने बताया कि इस चर्चा में वर्ष 2021 में होने वाली नैक रैकिंग में ए ग्रेड को बनाये रखने व शैक्षणिक व सांस्कृतिक क्षेत्र में उत्कृष्टता बढ़ाने पर पूर्व छात्रों के साथ संवाद भी किया जाएगा। पूर्व छात्र अपने संबंधित संकायों और विभागों मे ंजाएंगे और वहॉ पर विभागाध्यक्षों सेवानिवृत शिक्षकों, वरिष्ठ शिक्षकों तथा शोधार्थियों के साथ पाठ्यक्रम संशोधन के महत्व पर बातचीत करेंगे। संबंधित संकायों के डीन्स अपनी फेकल्टी व विभागों की प्रगति पर प्रजेंटेशन भी देंगे। पूर्व छात्रों से उनी मातृ संस्था के साथ निरंतर संबंध बनाये रखने और भविष्य की योजनाओं में सक्रिय भूमिका निभाने का आग्रह किया जाएगा।

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