बरेली के एक गॉव मे तालाब बना टांडा रोड राहगीर हो रहे घायल, ज़िम्मेदार बेखबर

सेंथल ( इमरान खान)। सेंथल-टांडा मार्ग बेहद जर्जर हो गया है। गहरे गड्ढे जानलेवा हो गए हैं। सड़क पर भरे पानी में वाहन फंसकर गिर जाते हैं। ग्रामीण कई बार आला अधिकारियों से शिकायत भी कर चुके हैं, लेकिन कोई ध्यान नही दिया जा रहा है। ज़िम्मेदार बेखबर बने हुए हैं। नोडल अफसर नवनीत सहगल जिले की सभी सड़कों को गढ्ढा मुक्त करने के निर्देश भी दे चुके हैं। लेकिन इस मार्ग पर आज तक किसी ने ध्यान नही दिया। 

करीब 20 गांवो और बरा उत्तरांचल को जोड़ने वाला सेंथल टांडा सादात मार्ग हल्की सी बारिश में ही तालाब बन जाता है।मार्ग पर इतने गढ्ढे है कि पता ही नही चलता की सड़क पर गढ्ढे हैं या गढ्ढों में सड़क है। गढ्ढे इतने गहरे और बड़े हैं कि बारिश के बाद यह तालाब बन जाते हैं। तालाब होने के कारण गढ्ढे नज़र नही आते इसमें वाहन फंस जाते हैं। ग्रामवासी फ़िरोज़ अहमद, फरियाद हुसैन, मोहम्मद विशाल, सगीर अहमद, अहमद रज़ा समाजसेवी हाजी मुन्ने अंसारी लियाकती ने बताया कि इस मार्ग पर रोज़ दुपहिया वाहन सवार गिरकर घायल हो रहे हैं। कई बार तो महिलाएं भी गिरकर घायल हो चुकी हैं। मार्ग पर वाहन चलाना तो दूर पैदल चलना भी मुश्किल है।

मार्ग से व्यापारी भी काफी परेशान हैं। जब भी कोई वाहन निकलता है तो कीचड़ दुकानों में आती है। बरौर, बकैनिया, लाईखेड़ा, पिपरा, फाजिलपुर, डंडिया फैजुल्ला, मसीत, बलीनगर, जाफरपुर, पंडरी पंडरा, अख्तियारपुर, नवदिया आदि गांवों को जोड़ने वाला यह मार्ग अफसरों की उपेक्षा का शिकार है। मार्ग पर पैदल चलना भी मुश्किल है। लेकिन ज़िम्मेदार बिल्कुल बेखबर बने हुए हैं।

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