आजम खान के फेफड़े तक पहुंचा संक्रमण, डॉक्टर्स की स्पेशल टीम की निगरानी में सपा सांसद

उत्तर प्रदेश के रामपुर से सांसद और समाजवादी पार्टी (SP) के नेता आजम खान की हालत नाजुक बनी हुई है। रविवार को ही उन्हें सीतापुर जेल से लखनऊ के मेदांता अस्पताल लाया गया था। यहां सोमवार देर शाम उन्हें सांस लेने में ज्यादा दिक्कत होने के बाद डॉक्टर्स ने उन्हें ICU में शिफ्ट किया था।

हॉस्पिटल प्रशासन ने देर रात मेडिकल बुलेटिन जारी कर बताया था कि 72 साल के आजम खान को ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया है। उन्हें हर घंटे 10 लीटर ऑक्सीजन की जरूरत पड़ रही है।

पिछले 14 महीने से सीतापुर जेल में बंद थे आजम
आजम खान और उनके बेटे अब्दुल्ला पिछले 14 महीने से सीतापुर जेल में बंद थे। दोनों 1 मई को कोरोना संक्रमित पाए गए थे। अभी तक उनका जेल में इलाज चल रहा था, लेकिन ऑक्सीजन लेवल कम होने के बाद रविवार को उन्हें लखनऊ के मेदांता अस्पताल में शिफ्ट किया गया। आजम के साथ उनके बेटे अब्दुल्ला को भी मेदांता में ही भर्ती कराया गया है।

मार्च 2020 में पत्नी-बेटे के साथ जेल भेजे गए थे आजम
आजम, उनकी पत्नी रामपुर सदर से विधायक तंजीन फातिमा और बेटे अब्दुल्ला के खिलाफ फरवरी 2020 में रामपुर के अपर जिला न्यायाधीश धीरेंद्र कुमार की अदालत ने कुर्की का वारंट जारी किया था। यह वारंट पूर्व विधायक अब्दुल्ला आजम के दो जन्म प्रमाणपत्र बनवाने से संबंधित मुकदमें में जारी किए गए थे। अदालत में पेश न होने के कारण तीनों के खिलाफ गैर जमानती वारंट पहले ही जारी किए जा चुके थे।

20 दिसंबर को रिहा हो चुकी है आजम की पत्नी
तीनों ने अपर जिला न्यायाधीश की अदालत में समर्पण किया था। जहां उन्हें 2 मार्च 2020 तक के लिए न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया था। सांसद आजम समेत तीनों नेताओं को रामपुर जेल में रखा गया था। लेकिन, कानून व्यवस्था का हवाला देकर तीनों को सीतापुर जेल में शिफ्ट कर दिया गया था। इससे पहले 20 दिसंबर को फातिमा जेल से रिहा हुई थीं। हालांकि, उनके बेटे अब्दुल्ला और खुद सांसद आजम खान जेल में रहे।

इस प्रकरण में जेल गया था आजम कुनबा
दरअसल, रामपुर के गंज थाने में आकाश सक्सेना ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। आरोप लगाया गया था कि अब्दुल्ला आजम खान ने 28 जनवरी 2012 और 21 अप्रैल 2015 को नगर निगम रामपुर से दो जन्म प्रमाण पत्र जारी कराया। इसमें अलग-अलग जन्म तिथि है, एक में उनकी जन्म तिथि 1 जनवरी 1993 है, तो दूसरे में 30 सितंबर 1990 है। ऐसा उनके द्वारा सरकारी लाभ व चुनाव लड़ने के लिए किया। उनके इस धोखाधड़ी में उनके पिता आजम खान व उनकी मां डॉ. तंजीन फातिमा शामिल हैं। इसी जन्म प्रमाणपत्र के आधार पर अब्दुल्ला आजम खान की विधायकी भी रद्द की जा चुकी है।

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