बादल फटने से हिमाचल बेहाल, कीरतपुर-मनाली फोरलेन समेत सैकड़ों रास्ते बंद, पढ़ें लाइव अपडेट्स

मंडी । हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में बीते 24 घंटों से हो रही मूसलधार बारिश ने जनजीवन को पूरी तरह अस्त-व्यस्त करके रख दिया है। जिलेभर में भूस्खलन और बाढ़ की घटनाओं ने हड़कंप मचाया हुआ है। कीरतपुर-मनाली फोरलेन की हालत सबसे गंभीर बताई जाती है। पंडोह से टकोली सेक्शन के बीच तीन स्थानों पर भूस्खलन के चलते यह मार्ग पूरी तरह अवरुद्ध हो चुका है।

जानकारी अनुसार लारजी पावर हाउस के समीप स्थित 840 मीटर लंबे एलिवेटेड ब्रिज को भारी नुकसान पहुंचा है। एक विशाल चट्टान के गिरने से डेक स्लैब करीब 15 सेंटीमीटर खिसक गया, जिस कारण पूरी संरचना अस्थिर हो गई है। लगातार मलबा गिरने के कारण मार्ग बहाली की फिलहाल कोई संभावना नजर नहीं आ रही है।

261 सड़कें बंद, बिजली आपूर्ति भी ठप
लोक निर्माण विभाग की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक, मंडी जिले में 261 सड़कें बंद हो चुकी हैं। धर्मपुर मंडल में 60, सरकाघाट में 36, थलौट में 34 और करसोग व सराज में 32-32 मार्ग बाधित हो गए हैं। सुंदरनगर, गोहर, मंडी द्वितीय, पद्धर, जोगेंद्रनगर और नेरचौक में भी अनेक सड़कें बंद हो गई हैं। इसके साथ ही क्षेत्र में बिजली आपूर्ति भी ठप हो गई है। कुल 1708 ट्रांसफार्मर बंद हो गए हैं। इनमें सबसे अधिक 604 ट्रांसफार्मर गोहर, 365 करसोग, 355 मंडी, 304 धर्मपुर, 42 सरकाघाट, 24 सुंदरनगर और 14 जोगेंद्रनगर में प्रभावित होना बताया गया है।

राहत कार्यों में आ रही बाधा
प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि जब तक बारिश थम नहीं जाती तब तक भूस्खलन प्रभावित इलाकों में राहत कार्य शुरू करना अत्यंत जोखिमभरा है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और लोक निर्माण विभाग की टीमें लगातार अलर्ट मोड पर हैं, लेकिन अनबरत बारिश के चलते राहत व पुनर्स्थापना कार्यों में गंभीर व्यवधान बना हुआ है। एनएचएआई मंडी के परियोजना निदेशक वरुण चारी ने बताया कि स्थिति की लगातार निगरानी की जा रही है और मौसम अनुकूल होते ही फोरलेन की बहाली कार्य प्राथमिकता से शुरू कर दिया जाएगा।

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