शाम को पूजा के समय मां दुर्गा के मंत्रों का उच्चारण करना एक विशेष धार्मिक परंपरा है, जो भक्तों को शांति और आशीर्वाद प्रदान करती है। मां दुर्गा को शक्ति और साहस की देवी माना जाता है, और उनकी स्तुति करने से मन की शांति और सकारात्मकता का संचार होता है। दुर्गा सप्तशती, जो कि 700 श्लोकों का संकलन है, का पाठ विशेष रूप से फलदायी माना जाता है। भक्त इस पाठ के माध्यम से मां दुर्गा से समृद्धि और शांति की प्रार्थना करते हैं। इसके अलावा, “ॐ दुं दुर्गायै नमः” जैसे मंत्रों का जाप करना भी बहुत लाभकारी होता है।
भक्तों को सलाह दी जाती है कि वे शाम को पूजा करते समय एकत्रित होकर मंत्रों का उच्चारण करें। यह न केवल व्यक्तिगत भक्ति को बढ़ाता है, बल्कि सामूहिक ऊर्जा भी उत्पन्न करता है। पूजा में फूल, दीप, और मिठाई का भोग अर्पित करना चाहिए, जिससे मां दुर्गा की कृपा प्राप्त हो सके।
इस समय विशेष रूप से ध्यान केंद्रित करना आवश्यक है, क्योंकि मां दुर्गा के प्रति श्रद्धा और भक्ति से मनुष्य की सभी कठिनाइयाँ दूर हो सकती हैं। नियमित रूप से इस पूजा को करने से जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आ सकते हैं। इसलिए, हर शाम इस अनुष्ठान को अपनाना चाहिए और मां दुर्गा की कृपा का अनुभव करना चाहिए।