
भास्कर समाचार सेवा ।
नई दिल्ली/ AI की चर्चा देश और दुनिया में हो रही है और लगातार AI क्रांति देखने को मिल रही है। इस बीच भारत में भी लगातार AI स्किल आधारित लोगों की डिमांड भी बढ़ी है। इसको देखते हुए मिरई स्कूल ऑफ टेक्नोलॉजी ने AI आधारित नया करियर ओरिएंटेड मॉडल पेश किया है, जिसके जरिए छात्र कॉलेजों में AI की शिक्षा हासिल कर सकते हैं। मिरई स्कूल ऑफ टेक्नोलॉजी ने भारत की नए युग की AI-फर्स्ट हायर एजुकेशन कंपनी के रूप में अपनी शुरुआत की है। AICTE और UGC से स्वीकृत कॉलेजों में बीटेक और बीसीए डिग्री जैसे इन फुल टाइम डिग्री कोर्सेज में AI फर्स्ट टेक्निकल एजुकेशन मिरई स्कूल ऑफ टेक्नोलॉजी के द्वारा प्रदान की जा रही है। इससे छात्रों को AI आधारित चीजें सिखने में आसानी होगी।
कंपनी के फाउंडर और सीईओ अर्पित सारदा की ओर से कहा गया कि उनका लक्ष्य एक भविष्य केंद्रित लर्निंग इकॉसिस्टम तैयार करना है जो छात्रों को व्यावहारिक AI स्किल और वास्तविक दुनिया के करियर में एकदम तैयार करता है। उन्होंने कहा कि मिरई आज की शिक्षा और कल के टेक्नॉलोजी के बीच की खाई को पाटने का काम करता है।
वहीं मिरई के एकेडमिक हेड कार्तिक माथुर का कहना है कि हम एक ऐसा इकॉसिस्टम बना रहे हैं जहां छात्र न केवल AI को अपनाते हैं बल्कि AI के साथ लीड करना सीखते हैं। उन्होंने कहा कि हमारे स्टूडेंट सिर्फ AI के बारे में सीखते नहीं हैं बल्कि उससे इनोवेशन भी करते हैं।
कार्तिक ने इस मॉडल की विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि इसमें 15+ अग्रणी AI टूल्स, 6+ वैश्विक प्रमाणपत्र, और वास्तविक AI अनुप्रयोगों पर केंद्रित पाठ्यक्रम जैसे जनरेटिव AI, LLMs और APIs शामिल है। वहीं छात्रों को पहले सप्ताह से ही GitHub Copilot, ChatGPT Plus और अन्य AI प्लेटफार्मों के साथ कोडिंग और डिबगिंग सिखाया जाता है जिससे वे स्मार्ट कोड लिखना सीखते हैं। इसके साथ ही Apple लैब्स, रोबोटिक्स लैब्स, स्मार्ट क्लासरूम्स के अलावा पर्सनल MacBook और GitHub Copilot, ChatGPT Plus जैसे प्रीमियम टूल्स की सदस्यता भी दी जाती है।
सेलेक्टिव एडमिशन प्रोसेस
लर्निंग हेड वरुण कोहली ने बताया कि इसमें सेलेक्टिव एडमिशन प्रक्रिया है जो केवल टॉप 20% आवेदकों को स्वीकार करती है और एक ऐसा वातावरण बनाती है जहां महत्वाकांक्षी छात्र एक दूसरे को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करते हैं। यानी की इसमें एडमिशन पूरी तरह से योग्यता के मुताबिक मिलता है और केवल 20% छात्रों को ही एडमिशन मिलता है। वहीं इन कोर्स को इंजीनियर्स, फाउंडर्स और इंडस्ट्री एक्सपर्ट के जरिए पढ़ाया जाता है।
AI मार्केट
अर्पित सारदा ने बताया कि भारत का AI बाजार 2027 तक $17 बिलियन तक पहुँचने की उम्मीद के साथ तेज़ी से बढ़ रहा है। इस तेजी से बढ़ती मांग और AI-कुशल पेशेवरों की भारी कमी के बीच, मिराई एक निर्णायक समय पर उभरा है। अपने पार्टनर कॉलेजों के माध्यम से संचालित AI-प्रथम B.Tech और BCA प्रोग्राम्स के ज़रिए, मिराई छात्रों को हेल्थकेयर, फाइनेंस, ऑटोमोटिव और अन्य उभरते क्षेत्रों में उच्च-विकास वाले AI करियर के लिए एक स्पष्ट मार्ग प्रदान करता है।