वैज्ञानिक के दावे से मचा हड़कंप-सांस लेने और बोलने से भी फैल सकता है कोरोना वायरस !

कोरोना वायरस से बचना है तो घर में रहना है, क्‍योंकि इसके फैलाव को लेकर जो भी दावे किए गए उसके मुताबिक ये आपको तब तक नहीं होगा जब तक आप संक्रमित व्‍यक्ति के सीधे संपर्क में नहीं आते, या संक्रमण के सीधे संपर्क में नहीं आते । लेकिन अमेरिका के एक वैज्ञानिक का दावा है कि कोरोना वायरस कफ, खांसी और बुखार के अलावा सांस के जरिए भी फैल सकता है । जिसके बाद अब इस बीमारी पर और शोध हो रहा है ।

कोरोना वायरस
कारेाना वायरस को लेकर अब तक बताया जा रहा था कि कोरोना का वायरस संक्रमित व्‍यक्ति की छींक से बाहर आता है, अब ये    संक्रमित बूदें जिस भी समह पर पड़ें समझिए वो संक्रमण की चपेट में है । जब आप ऐसी किसी वस्‍तु को हाथ लगाएंगे और इन हाथों से आंख, कान व नाक को छुएंगे तो ये संक्रमण आपके भी शरीर में प्रवेश कर जाएगा । लेकिन अब नए दावे में कहा गया है कि ये सांस लेने और बोलने से भी फैल सकता है ।

अमेरिकी वैज्ञानिक का दावा
दरअसल नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ में इन्फेक्शस डिजीज के हेड एंथोनी फॉसी ने अमेरिका के एक न्यूज चैनल से बातचीत में इस रिसर्च के नतीजों की जानकारी दी । जिसमें कहा गया है –  ‘हाल ही में मिली सूचनाओं के आधार पर ये बात सामने आई है कि कफ और खांसने के अलावा ये वायरस सिर्फ बात करने से भी फैल सकता है।’

सभी लोग मास्‍क पहने
इस रिसर्च के नतीजे देखते हुए एंथोनी फॉसी ने बीमार लोगों के अलावा आम लोगों से भी मास्क पहनने की अपील की है । आपको बता दें इससे पहले नेशनल एकेडमी ऑफ साइंसेज (NAS) की ओर से भी व्हाइट हाउस को एक पत्र लिख कर इस रिसर्च के बारे में बताया था । हालांकि रिसर्च के नतीजों के बारे में एनएएस श्‍योर नहीं था । लेकिन ये कहा जाता रहा कि सांस लेने से इस वायरस का एरोसोलाइजेशन हो सकता है । यानी ये हवा में भी फैल सकते हैं । हालांकि ये दावा पहले भी किया गया है कि ये वायरस हवा में तीन घंटे तक रह सकता है । हालांकि इस अध्‍ययन के तरीके को लेकर सवाल उठ रहे हैं कहा जा रहा है कि इस स्‍टडी के लिए रिसर्च टीम ने नेबुलाइजर मशीन का इस्तेमाल किया, ताकि जानबूझकर वायरल धुंध बनाई जा सके जबकि स्वाभाविक रूप से ये संभव नहीं है ।

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