
गर्भवती महिला पर न आए आंच , 102 एंबुलेंस की मदद से कराएं जांच
संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए हर स्तर पर बरते सावधानी
क़ुतुब अन्सारी
बहराइच l कोविड-19, गर्भ मे पल रहे बच्चे के स्वास्थ्य को प्रभावित करेगा, अभी तक इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नही मिला हैं l ऐसे मे घबराएँ बिलकुल भी नहीं बस सतर्क रहें और कुछ जरूरी सावधानियों को अपनाकर आने वाले मेहमान का स्वागत करें l इस मुश्किल घड़ी मे अफवाहों और सुनी सुनाई बातों पर ध्यान न दें बल्कि सरकार द्वारा जारी दिशा-निर्देश तथा चिकित्सकों द्वारा दी जा रही जानकारी को अपनाकर माँ और बच्चे को स्वस्थ रखने मे उनकी मदद करें lकोरोना संक्रमण काल मे गर्भावस्था के दौरान माँ और होने वाला शिशु संक्रमित न हो इसके लिए कुछ जरूरी कदम मददगार साबित हो सकते हैं मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सुरेश सिंह का कहना है कि गर्भवती महिलाएं आपस मे बातचीत करते समय कम से कम 2 मीटर की दूरी बनाए रखें और घर के अन्य सदस्यों से अलग एक कमरे मे रहें l
किसी भीडभाड़ वाली जगह जैसे बाज़ार , धार्मिक स्थान या परिवार मे होने वाले किसी भी सामाजिक अथवा धार्मिक आयोजन मे बिलकुल न जाएँ l स्वास्थ्य लाभ के लिए बाहर निकलना जरूरी हो तो चेहरे पर मास्क लगाएँ , मास्क घर पर भी आसानी से बनाया जा सकता है l हर 4 से 6 घंटे मे साबुन पानी से हाथ धोएँ, खासकर खाना बनाने और खाना खाने से पहले हाथ जरूर धुलें l खाँसते व छींकते समय साफ रुमाल/ टिशू पेपर का प्रयोग करें तथा बार-बार अपने चेहरे, नाक व आँख को न छुएँ l पौष्टिक आहार ले , अच्छी नींद सोएँ व चिंता मुक्त रहें l कोरोना संक्रमण के लक्षण जैसे सर्दी खांसी बुखार सांस फूलना आदि हो तो केवल 108 एंबुलेंस की मदद से ही अस्पताल जाएँ l
होने वाले खतरे को पहचाने -डॉ ममता बसंत स्त्री रोग विशेषज्ञ का कहना है कि गर्भावस्था के समय बुखार आना, रक्त स्राव होना, पेंड़ू मे दर्द या बदबूदार पानी आना, गर्भ मे पल रहे शिशु का कम घूमना खतरे के लक्षण हैं l इस दौरान माँ को सिर दर्द, दौरे पड़ना या झटके आना, अत्यधिक थकान अथवा कमजोरी महसूस होना अच्छे संकेत नहीं होते l इन सभी स्थितियों मे इलाज के लिए नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर जाना चाहिए l
6 माह या इससे अधिक की गर्भवती महिलाएं खतरे के कोई लक्षण न होने पर भी प्रसव पूर्व जांच अवश्य कराएं l उन्होने बताया लॉक डाउन के दौरान नियमित जाँचों के लिए घरों से न निकले परंतु आवश्यक जांच अथवा खतरे के किसी भी लक्षण के लिए 102 एंबुलेंस की मदद से नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर अवश्य जाएँ l सहायता के लिए अपने क्षेत्र की आशा अथवा एएनएम से संपर्क करें l