–किसान समृद्धि आयोग के सदस्य ऋषि गुप्ता ने सुनी किसानों की समस्याएं
भास्कर समाचार सेवा
मथुरा। फसल बीमा किसानों के लिए किस तरह मददगार साबित हो सकता है यह इस बार हुई बरसात से साबित हो रहा है। बरसात से किसानों को फसलों में हुए नुकसान की भरपाई के लिए प्रयास तेज कर दिए गए हैं। दूसरी जलभराव की समस्या के समाधान के प्रयास भी किए जा रहे हैं। गुरुवार को किसान समृद्धि के सदस्य ऋषि गुप्ता मथुरा पहुंचे। यहां उन्होंने किसानों की समस्याओं को सुना और अधिकारियों को किसानों के साथ सामंजस्य स्थापित कर उनकी समस्याओं के यथासंभव और शीघ्र निस्तारण के निर्देश दिये। श्री गुप्ता ने बताया कि किसानों ने समस्या रखी हैं कि जलभराव को जल्दी दूर कराया जाए। जो नुकसान हुआ है उसका जल्द मुआवजा मिले। इस संदर्भ में कृषि अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि अतिशीर्ध अपने कर्मचारियों को लगा कर मौका मुआयना करें और उसकी रिपोर्ट किसानों से पूछ कर और खुद पूरी कर शासन को भेजें। जिससे समय से मुआवजा सुनिश्चित हो सके। जलभराव पर अधिकारियों के साथ चर्चा हुई है। अधिकारियों ने आश्वासन दिया है कि ब्लॉक स्तर पर समस्या के समाधान के प्रयास जारी हैं। कहीं मकान गिर गए हैं उन्हें आवास व्यवस्था से मकान उपलब्ध कराना। कहीं पशुधन हानि हुई है उन्हें भी राहत दिये जाने का प्रस्ताव है। उप कृषि निदेशक कृषि रामकुमार माथुर, जिला कृषि अधिकारी ऐके सिंह भी इस दौरान मौजूद रहे। किसानों का बीमा नहीं उनकी भी होगी मदद फसल बीमा वालों को मिलना ही है। जिनके बीमा नहीं हैं उनके लिए सरकार योजना ला रही है। सरकार की सोच है कि उनको भी मुआवजे के रूप में कुछ न कुछ दिया जाए। जब आकलन आ जाएगा तो यह तय कर उनको मुआवजा दिया जाएगा। जिन किसानों आयोग सदस्य ने कहा कि जिन किसानों का बीमा नहीं है वह भी निराश न हों।
रवी की फसल को लेकर चिंता
किसानों ने फसलों में हुए नुकसान के साथ ही खेतों में भरे पानी की निकासी की मांग भी उठाई। खेतों में हुए जलभराव के चलते रवी सीजन की फसलों की बुआई पर भी संकट खड़ा हो गया है। गेहूं, सरसों, जो, आलू आदि की बुआई का समय चल रहा है। खेतों में पानी भरा हुए ऐसे में खरीफ की फसल में नुकसान उठा चुके किसानों पर दोहरी मार पड़ रही है किसान समृद्धि आयोग के सदस्य ऋषि गुप्ता ने बताया कि बरसात से खेतों में हुए जलभराव की समस्या का समाधान किया जाएगा। अधिकारियों से इस बारे में बात हुई है। समस्या के समाधान के लिए जो भी संभव होगा किसानों की मदद की जाएगी।