यूपी में सनसनीखेज वारदात : तीन बुजुर्गो की हत्या से थर्राया सीतापुर

सीतापुर। जिले के अंदर महज 12 घंटे में तीन बुजुर्गो की निमर्म हत्या कर उन्हें मौत के घाट उतार दिया गया। महज 12 घंटे में हुई तीन बुर्जुगों की हत्या से सीतापुर जिले के लोगों में जहां सनसनी फैल गई वहीं लोगों में दहशत का माहौल व्याप्त हो गया। सुरक्षा व्यवस्था को लेकर लोग कानून पर उंगली उठाने लगे हैं।

बताते चलें कि रविवार की रात नौ के करीब थाना कमलापुर में दिल दहला देने वालजी घटना हुई। जहां एक दंपत्ति की ईंटों से कूच कर उन्हें मौत की नींद सुला दिया गया। कमलापुर कस्बे के निवासी जाकिर (75) व उनकी पत्नी जाखिरा उर्फ चुन्नी (70) की रविवार रात करीब 10 बजे ईट से कुछ कर हत्या कर दी गई है। सूत्र बताते हैं कि मृतक दंपत्ति के बिसवा निवासी नाती ने डायल 112 पर फोन करके सूचना दी थी, कि उनके नाना और नानी को कुछ लोग मार रहे हैं। इस सूचना पर पुलिस टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने जांच की तो चुन्नी की लाश मकान की छत पर पड़ी मिली और जाकिर मकान की गैलरी में मृत हालत में बड़ा था। बताया जा रहा है कि हत्यारों ने दंपति की ईट से कूच कर हत्या कर दी है। घटना के पीछे फिलवक्त संपत्ति के विवाद का होना बताया जा रहा है। जानकारी होते ही अपर पुलिस अधीक्षक दक्षिणी एनपी सिंह, सीओ सिधौली सहित कई थानों की पुलिस मौके पर मौजूद है। पुलिस जांच पड़ताल व हत्यारों का पता लगाने में जुटी है। अपर पुलिस अधीक्षक का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है।

इस घंटना से ठीक 12 घंटे पहले थाना महमूदाबाद में एक कलयुगी पोते ने अपनी ही दादी का गला रेत कर उन्हें मौत के घाट उतार दिया था। ज्ञात हो कोतवाली महमूदाबाद के कैथी टोला वार्ड निवासी बुजुर्ग शांति देवी (70) पत्नी गौरीशंकर बीते दो दिन पहले अपने पति (गौरीशंकर) की मौत के बाद अकेले अपने घर पर रह रही थी। इस बीच पैंतेपुर निवासी कमलेश जो कि बुजुर्ग महिला के सौतेले पुत्र थे वो अपने पिता के क्रिया कर्म करने हेतु यहीं घर पर मौजूद रहे। रविवार की सुबह करीब सात बजे कमलेश अपनी पत्नी के साथ दवाई लेने चले गए। इसी दौरान कमलेश का पुत्र प्रदीप वर्मा अपनी दादी शांति देवी के घर पहुंचा। शुक्रवार को हुई बाबा गौरीशंकर की मौत के बाद उपजे भूमि विवाद से आक्रोशित प्रदीप ने अपनी दादी के गले पर धारदार हथियार से हमला कर मौत के घाट उतार दिया। घटना को अंजाम देने के बाद प्रदीप कोतवाली मय आला कत्ल पहुंच गया। लोगों की मानें तो प्रदीप की दादी के नाम सम्पति आने के बाद से ही प्रदीप अपनी दादी से नाराज था और उसे लगता था कि दादी सारी सम्पति किसी और को दे देंगी।

जिले में घटित हुई दोनों घटनाओं से लोगों में दहशत का माहौल व्याप्त हो गया है और लोग कानून व्यवस्था पर दउंगली उठाने लगे है। लोगों का कहना है कि चुनाव संपन्न होने के बाद से अचानक अपराध में बाढ़ सी आ गई है। पुलिस निष्क्रिय हो उठी है। जिससे अपराधियों में भय का नाम नहीं रह गया है। चुनावी रंजिश में न जाने कितनी मारपीट हो चुकी है। चोरी जैसी घटनाएं अचानक बढ़ गई है।