
भास्कर ब्यूरो
झोलाछापों के साथ अन्य दुकानदारों से भी करते थे पत्रकारिता के नाम पर उगाही।
फर्जी माइक आईडी लेकर 23 नवंबर को पहुंचे थे डॉक्टर की दुकान पर।
असमोली/संभल। संभल जनपद के असमोली थाना पुलिस ने झोलाछापों तथा अन्य दुकानदारों के साथ ठगी करने वाले दो कथित पत्रकारों को गिरफ्तार कर लिया। जिन पर दर्ज मुकदमे के आधार पर कार्यवाही करते हुए जेल भेजा गया है।
बता दें कि नखासा थाना क्षेत्र के केशोंपुर भंडी निवासी मेहराजुल हसन पुत्र गब्बर अली अपने साथी हजरतनगर गढ़ी थाना क्षेत्र के बैंटला निवासी कपिल ठाकुर पुत्र पप्पू के साथ फर्जी पत्रकार बन कर अपने साथ फर्जी माइक आईडी लेकर झोलाछाप दुकानदारों तथा अन्य दुकानदारों के साथ ठगी करते थे। लोगों को सोशल मीडिया पर उनकी पोस्ट वायरल करने तथा छवि धूमिल करने की धमकी देते हुए उनसे हजारों रुपए ऐंठते थे। दोनों ने बीते 23 नवंबर को बैंटला में डॉक्टर इबराईम की दुकान पर पहुंच कर हाथ में फर्जी माइक आईडी लेकर उन्हें डराते हुए पचास हजार रुपए की मांग की थी। जिसमें डॉक्टर के भय में आने के बाद पांच हजार रुपए इस समय दे दिए गए तथा कुछ बाद में देने की बात कही गई थी। इसके बाद डॉक्टर इबराईम ने उपरोक्त दोनों के खिलाफ असमोली थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। उसी समय से पुलिस दोनों की तलाश में थी। बीते मंगलवार को चेकिंग के दौरान असमोली पुलिस ने फैजगंज बैहटा रोड शाहबाजपुर के पास से गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तार के बाद दोनों को थाने लाया गया। जहां से दर्ज मुकदमे के आधार पर दोनों को जेल भेजा गया है।
लाइव टेलीकास्ट के लिए ले ली थी फर्जी आईडी।
रुपए नहीं देने पर लगाते थे छेड़छाड़ जैसी घटना का आरोप।
पुलिस की पूछताछ में कथित पत्रकार मेहराजुल ने बताया कि वह अपने साथी कपिल ठाकुर और अन्य साथियों के साथ मिलकर लोगों को अपने जाल में फंसाते हुए रूपए ऐंठते थे। जिन्होंने एक फर्जी माइक आईडी ले ली थी। जिसमें उनका एक अन्य साथी उनकी टीम का डायरेक्टर तौसीफ आलम था, जिसने अपना एक क्लीनिक शहबाजपुर में खोल रखा है। जिसके पास लाइव टेलीकास्ट के लिए एक ओबी वैन भी है। जिसके जरिए लोगों को डरा धमकाकर और टेलीकास्ट करने की धमकी देते हुए रुपए वसूलते थे। मेहराजुल ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि उन्होंने अब तक कई लोगों को अपना शिकार बनाया है और पत्रकारिता की आड़ में फर्जी पत्रकार बनकर लोगों को डरा धमका कर उनसे रुपए वसूलते थे और नहीं देने पर अपनी टीम की महिलाओं से बलात्कार तथा छेड़छाड़ की झूठी शिकायत थाने में दर्ज करा देते थे। जहां फैसले के दौरान भी उनसे मोटी रकम वसूलते थे। लोगों की झूठी खबरें सोशल मीडिया पर ट्विटर के जरिए चलाकर उन्हें बदनाम करते थे।
जनपद में फैले हैं अनेकों कथित पत्रकार, वसूल रहे मोटी रकम।
झोलाछापों व ग्राम प्रधानों को बना लेते हैं अपना शिकार।
जनपद में अपने आप को पत्रकार कहने वाले फर्जी पत्रकारों की भरमार है। जहां फर्जी माइक आईडी व फर्जी यूट्यूब चैनल बनाकर लोगों की झूठी खबरों को सोशल मीडिया पर वायरल करने की धमकी देते हुए उनसे मोटी रकम वसूलते हैं। जनपद के अलग-अलग क्षेत्र में ऐसे तमाम कथित पत्रकार मिल जाएंगे जो आए दिन झोलाछापों तो कभी ग्राम प्रधान व संबंधित कर्मचारी और अन्य दुकानदारों को अपना निशाना बनाते हुए उनसे रकम वसूलते रहते हैं। जिसके चलते वह पत्रकारिता की छवि को धूमिल कर रहे हैं।
अपने आप को पत्रकार बताते हुए वह आसानी से सबसे पहले झोलाछापों को अपना निशाना बनाते हैं। जहां उनकी दुकान पर पहुंचकर फोटो खींचते हुए उसे सोशल मीडिया पर वायरल करने और खबरें चलाने की धमकी देते हैं। जिसके चलते उनसे मोटी रकम वसूल लेते हैं। इतना ही नहीं सोशल मीडिया पर भी कथित पत्रकार अपने नाम पर पत्रकार लिखते हुए जमकर पोस्ट वायरल करते हैं।
इतना ही नहीं जनपद में पहले भी कथित पत्रकारों के मकड़जाल ने पत्रकारिता को बदनाम करते हुए उनकी छवि को धूमिल किया है।