नागरिकता संशोधन बिल को लेकर JDU में दरार ? नीतीश का समर्थन लेकिन PK हुए निराश

लोकसभा में जनता दल (यू) द्वारा लोकसभा में नागरिकता संशोधन विधेयक का समर्थन किए जाने पर पार्टी में मतभेद खुलकर सामने आ गया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिल का समर्थन किया है। जबकि राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने निराशा जाहिर करते हुए कहा कि विधेयक लोगों से धर्म के आधार पर भेदभाव करता है। लोकसभा में बिल पास होने के बाद प्रशांत किशोर ने ट्वीट किया कि विधेयक पार्टी के संविधान से मेल नहीं खाता।

किशोर ने ट्वीट करते हुए लिखा, जदयू के नागरिकता संशोधन विधेयक को समर्थन देने से निराश हुआ। यह विधेयक नागरिकता के अधिकार से धर्म के आधार पर भेदभाव करता है। यह पार्टी के संविधान से मेल नहीं खाता जिसमें धर्मनिरपेक्ष शब्द पहले पन्ने पर तीन बार आता है। पार्टी का नेतृत्व गांधी के सिद्धांतों को मानने वाला है।

गौरतलब है कि बिल पर चर्चा में भाग लेते हुए लोकसभा में जदयू सांसद राजीव रंजन ने कहा कि जदयू विधेयक का समर्थन इसलिए कर रही है क्योंकि यह धर्मनिरपेक्षता के खिलाफ नहीं है। सिंह ने कहा कि सदन में कुछ लोग अपने अपने हिसाब से धर्मनिरपेक्षता की परिभाषा गढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस विधेयक को लेकर पूर्वोत्तर के लोगों को कुछ शंकाएं थीं, लेकिन अब इन शंकाओं को भी दूर कर दिया गया है।

 

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