सीबीआई के शिकंजे के डर से उत्तर रेलवे के आलाधिकारी महीनो से दफ्तर नहीं आए, विभाग के कई अधिकारी हो चुके हैं गिरफ्तार

भास्कर समाचार सेवा

नई दिल्ली। एक तरफ जहां रेलवे सतर्कता जागरूकता अभियान चलाता रहता हैं देश के प्रधानमंत्री ना खायेगे न खाने देंगे के तर्ज पर काम करते हैं वही देश की सबसे बड़ी सार्वजनिक परिवहन संचालित करने वाली भारतीय रेलवे के कई अधिकारी जांच के दायरे में आने के डर से दफ्तरों से महीनो से गायब हैं हालाकि जांच के दायरे में फिलहाल उनका नाम भले ना आया हो पर डर हैं की उनके विभाग के हाल के कुछ महीनो में हुई गिरफ्तारी की आंच उनपर भी ना आ जाए, हम बात कर रहे हैं उत्तर रेलवे के निर्माण विभाग की जहां हाल के एक साल में लखनऊ से लेकर उत्तर प्रदेश में सीबीआई ने भ्रष्टचार के आरोप के कई गिरफ्तारी की हैं जिसके बाद से चर्चा जोरों पर हैं की उत्तर रेलवे के निर्माण विभाग के मुखिया चीफ एडमिनिस्ट्रेशन ऑफिसर ए के सिंगल साहब दफ्तर से गायब हैं, बीते कई महीने से दिल्ली के कश्मीरी रोड स्थित अपने दफ्तर नहीं आए हैं इसके पीछे आखिर क्या वजह हैं कहीं जांच की आंच आने का दर तो नहीं। क्योंकि बीते एक साल में सबसे ज्यादा गिरफ्तारियां उनके ही विभाग में हुई हैं , बीते 7 नवंबर को उत्तर रेलवे के चारबाग स्थित निर्माण विभाग के डिप्टी चीफ इंजीनियर हरीश कुमार को सीबीआई ने घूस के मामले में गिरफ्तार किया था साथ ही उसके कई ठिकानों पर छापा मारा और 52 लाख रुपये बरामद किए थे, हालांकि यह कोई पहला मामला नहीं है, इससे पहले भी रेलवे के भ्रष्ट अधिकारी सीबीआई के हत्‍थे चढ़ चुके हैं, उत्तर रेलवे का निर्माण विभाग पिछले साल दिसम्बर में भी चर्चा में आया था. 10 दिसम्बर 2022 को सीबीआई ने छापा मारकर डिप्टी चीफ इंजीनियर अरुण कुमार मित्तल को 50 हजार रुपये घूस के साथ रंगे हाथ पकड़ा था. ठेकेदार की शिकायत पर कार्रवाई की गई थी. इसके बाद सीबीआई ने कई दिनों तक निर्माण विभाग के आला अफसरों से पूछताछ की, जबकि बीते साल तीन जून को आलमबाग में कैरिज एंड वैगन वर्कशॉप के पास स्थित सामग्री विभाग के उप मुख्य सामग्री प्रबंधक आलोक मिश्र को सीबीआई ने लम्बित बिलों के भुगतान के घालमेल में 32.10 लाख रुपये के साथ गिरफ्तार किया था.कई ठिकानों पर छापा मारा गया था, सीबीआई ने बीते साल 22 फरवरी 2023 को आगरा में दो रेलवे अधिकारियों मुकेश कुमार और विजय सिंह को गिरफ्तार किया था. बिल पास कराने के एवज में पांच लाख रुपये की घूस ले रहे थे. सीबीआई ने पूर्वोत्तर रेलवे मुख्यालय गोरखपुर में छापा मारकर 12 सितम्बर 2023 को प्रमुख मुख्य सामग्री प्रबंधक केसी जोशी को पांच लाख रुपये घूस लेते दबोचा था. जोशी के घर से बड़ी संख्या में टीम को नकद पैसे भी मिले थे।

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