
हसनगंज(भास्कर)। विकास खंड का विकास हकीकत में कम कागजो पर ज्यादा हो रहा है। सरकार की योजनाएं किस कदर भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ रही है इसका अंदाजा गांवों में लगवाई गयी सोलर व सामान्य स्ट्रीट लाइटों से लगाया जा सकता है। निर्धारित से अधिक लाइटें कागजों पर दिखा कर भुगतान भी हो गया। खास बात यह है इस बाबत जानकारी देने पर जिम्मेदार पल्ला झाड़ रहे हैं। मामला विकास खंड की ग्राम पंचायत कोइया मदारपुर का है। नाम न छापने की शर्त पर कुछ ग्रामीणों ने बताया कि 6 सोलर स्ट्रीट लाइटे और 20 से 25 स्ट्रीट लाइटे लगी है पर लाइटो की संख्या ज्यादा दिखा कर अधिक लाइटांे का भुगतान कर दिया गया है।
आप को बताते चले इन लाइटों को लगवाने मे किन्ही भी नियम शर्तो का पालन नहीं किया गया और मनमाने ढंग से सोलर स्ट्रीट लाइट व स्ट्रीट लाइटे लगवा दी गई। न तो नेडा के जरिए लाइटे लगवाई गयी न ही बिजली विभाग से कोई अनुबंध और मनमाने ढंग से सरकारी धन डकारने के लिए लाइटें लगवा दी गयी। सूत्रों की माने तो ग्राम पंचायत मे करीब 9 सोलर स्ट्रीट लाइटे लगनी थी पर मौके पर सिर्फ 6 ही लगी है इसी तरह स्ट्रीट लाइटो मे भी खेल किया गया है पर जिम्मेदार इस पर कुछ भी कहने से बच रहे है।
इस सम्बंध मे जब ग्राम विकास अधिकारी शिल्पी यादव से बात की गई तो उन्होंने साफ शब्दो मे कहा इसके लिए एडीओ पंचायत से बात करें मेरी जानकारी में नहीं है। बड़ा सवाल यह है कि जिन सोलर लाइटों की जानकारी नहीं है उनका भुगतान कैसे हो गया। तत्कालीन एडीओ पंचायत एवं इसी ग्राम पंचायत मे ग्राम पंचायत अधिकारी रहे लल्लू लाल से जानकारी करनी चाही तो उन्होंने जानकारी ग्राम विकास अधिकारी शिल्पी यादव से लेने की बात कहते हुए पल्ला झाड़ लिया। सूत्रों की माने तो लाइटों का भुगतान तत्कालीन वीडीओ लल्लू लाल ने किया था। सबसे बड़ी बात यह है कि यह दोनो अधिकारी अपने अपने को बचाने के लिए एक दूसरे पर जिम्मेदारी डाल रहे हैं। इस सम्बंध में जब खण्ड विकास अधिकारी पंकज गौतम से उनके पर्सनल मोबाइल नंबर और सीयूजी नम्बर पर सम्पर्क किया गया तो उनका फोन नही उठा जबकि योगी सरकार का सख्त निर्देश है कि सीयूजी नम्बर पर कोई भी सम्पर्क करता है तो तुरन्त फोन उठाकर बात करें।