भारत और अमेरिका मिलकर बनाएंगे लड़ाकू बख्तरबंद वाहन, सैनिकों को लाने और ले जाने में…

नई दिल्ली (ईएमएस)। नई दिल्ली में अमेरिकी रक्षामंत्री लॉयड ऑस्टिन ने बताया कि भारत-अमेरिका मिलकर लड़ाकू बख्तरबंद वाहन बनाएंगे। माना जा रहा है कि ये वाहन चीन की बढ़ती सैन्य ताकत का मुकाबला करने बनाया जा रहा है। ऑस्टिन ने जयशंकर और रक्षा मंत्री सिंह से मुलाकात के बात इसकी जानकारी दी है। बख्तरबंद लड़ाकू वाहन रक्षा औद्यौगिक सहयोग एग्रीमेंट के तहत बनाए जाएंगे। अमेरिकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने कहा कि इससे सेनाओं को एक जगह से दूसरे जगह जाने के दौरान सुविधा होगी।

अगर ये नई बख्तरबंद गाड़ियां सैनिकों को मिलती हैं,तब भारतीय सैनिक चीनी सीमा एलएसी पर बेहतर तरीके से निगरानी कर पाएंगे। इसके साथ ही अमेरिका चाहता है कि रक्षा क्षेत्र में भारत की रूस पर निर्भरता को कम किया जाए।

इस बार दोनों देशों के रक्षा मंत्रियों ने खुफिया जानकारी और तकनीक को साझा कर राजनयिक संबंधों को मजबूती देने की बातें कही हैं। इन बख्तरबंद गाड़ियों को लेकर आला अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर कहा है कि अधिकांश वाहन चीन के साथ भारत की सीमा पर तैनात किए जाएंगे। यहां 2020 में एक झड़प के बाद से ही तनाव काफी ज्यादा बना हुआ है, जिसमें दोनों पक्षों के सैनिक मारे गए थे। कुछ वाहनों को पाकिस्तान के साथ भारत की सीमा पर भी तैनात किया जाएगा।

भारत सरकार नई दिल्ली सहित देश के अलग-अलग हिस्सों में इस बख्तरबंद लड़ाकू वाहनों को तैनात करने की तैयारी कर रही है। इन वाहनों में टैंक रोधी मिसाइल लगेगी। भारत सरकार के अधिकारी का कहना है कि बॉर्डर और संवेदनशील इलाके की निगरानी में भी इन वाहनों की तैनाती की जाएगी।

इस बख्तरबंद लड़ाकू वाहन (स्ट्राइकर) को जनरल डायनेमिक्स लैंड सिस्टम्स इंक. कंपनी ने बनाया है। ये बख्तरबंद गाड़ी किसी ऑपरेशन के दौरान अमेरिकी सेना के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। इसके दो दर्जन से ज्यादा वेरिएंट हैं, जो किसी ऑपरेशन या सेना को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के लिए इस्तेमाल होते हैं।

इसके अलावा ये वाहन किसी ऑपरेशन के दौरान घायलों की सहायता और चिकित्सा के लिए भी इस्तेमाल किए जा सकते हैं। हाल में ही इस गाड़ी पर एक 30 मिमी की तोप जोड़ी गई है। कम दूरी पर उड़ रहे दुश्मन के एयरक्राफ्ट को मार गिराने के लिए भी इस हथियार का इस्तेमाल किया जा सकता है। अमेरिकी ने रूसी सेना के खिलाफ जमीनी लड़ाई लड़ रहे यूक्रेनी सेना के लिए स्ट्राइकर गाड़ी भी भेजी हैं। इस लड़ाकू बख्तरबंद गाड़ी की वजह से यूक्रेन के सैनिक फ्रंटलाइन बाउंड्री की सुरक्षित तरीके से निगरानी कर पा रहे हैं।

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