गैस पाइप लाइन बिछाने के दौरान टूटी सड़कों की मरम्मत अब आइजीएल कंपनी को स्वयं करनी होगी।

  • आईजीएल कंपनी से लिया गया पैसा वापस करेगी नगर पालिका।

मुजफ्फरनगर। गैस पाइप लाइन बिछाने के दौरान टूटी सड़कों की मरम्मत अब आइजीएल कंपनी को स्वयं करनी होगी। मरम्मत और गड्ढे भरने के लिए वसूली गई 5.7 करोड़ की धनराशि पालिका की ओर से आइजीएल कंपनी को वापस की जाएगी। कंपनी शहर में अब तक करीब 600 किमी. में पाइप लाइन बिछा चुकी है। शहर में हुए गड्ढों और सड़कों की मरम्मत को लेकर काफी सवाल खड़े हो रहे थे।
इंद्रप्रस्थ गैस कंपनी की ओर से शहर में पीएनजी (पाइप्ड नेचुरल गैस) के कनेक्शन दिए जा रहे हैं। घर-घर पहुंचाई जा रही रसोई गैस के लिए कंपनी शहर भर में पाइप लाइन बिछा रही है। एक अनुमान के अनुसार कंपनी अब तक करीब 600 किमी की पाइप लाइन बिछा चुकी है। जिसके चलते शहर की अधिकतर कालोनियों की मुख्य और संपर्क सड़कों में गड्ढे हो गए। शुरूआत में कंपनी ने करीब 100 किमी से अधिक लंबी सड़क की मरम्मत स्वयं कराई। गड्ढे भी भरे गए। लेकिन बाद में सड़क मरम्मत की जिम्मेदारी नगर पालिका निर्माण विभाग ने ले ली थी। कंपनी ने अलग-अलग समय नगर पालिका को करीब 5.7 करोड़ की धनराशि का भुगतान किया। भुगतान आरंभ करने के बाद से कंपनी ने स्वयं सड़कों की रिपेयरिंग बंद कर दी थी। जिसके चलते शहर की अधिकतर सड़कों में गहरे गड्ढे हो गए। इस बीच नगर पालिका लोक निर्माण विभाग की ओर से गड्ढे भरने की प्रक्रिया शुरू की गई। जिसके उपरांत पालिका वार्ड सभासद राजीव शर्मा ने एई निर्माण पर शासनादेश का उल्लंघन कर गैस पाइप लाइन बिछाए जाने से हुए सड़क के गड्ढे पालिका के तत्वावधान में भरवाने की प्रक्रिया प्रारंभ करने का आरोप लगाया था। इस पर पालिका चेयरपर्सन की ओर से एई निर्माण का स्पष्टीकरण तलब कर लिया गया। अपने जवाब में एई निर्माण अखंड प्रताप सिंह ने साफ कहा कि पालिका के तत्कालीन प्रशासन ने भी मरम्मत और निर्माण कार्य के लिए कंपनी से 28 लाख रुपये जमा कराए थे। नगर पालिका चेयरपर्सन मीनाक्षी स्वरूप ने बताया कि पाइप लाइन डाले जाने से सड़क में हुए गड्ढे और सड़क मरम्मत का कार्य नियमानुसार कंपनी ही कराएगी। नगर पालिका मरम्मत कार्य की मानीटरिंग करेगी।

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