शाहीन बाग पर SC ने कहा- हमेशा के लिए सड़क नहीं रोक सकते प्रदर्शनकारी, हर कोई ऐसे प्रदर्शन करने लगे तो..

नई दिल्ली/ टीम डिजिटल। दिल्ली (Delhi) के शाहीन बाग (Shaheen Bagh) में करीब 57 दिन से प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों को हटाने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई की। शाहीन बाग मसले पर कोर्ट ने केंद्र सरकार और दिल्ली सरकार को नोटिस भेजते हुए कहा कि ऐसे में तो कोई कहीं भी प्रदर्शन करने लगेगा। इस तरह अनवरत पब्लिक प्लेस पर सड़क कैसे जाम किया जा सकता है? प्रदर्शनकारियों का वहां से हटाने की मांग पर पहले सरकार को सुनेंगें।

वकील और सामाजिक कार्यकर्ता अमित साहनी सहित कई लोगों ने प्रदर्शन स्थल से प्रदर्शनकारियों को हटाने वाली याचिका डाली थी। याचिका में शाहीन बाग के बंद पड़े मार्ग को खोलवाने की मांग की गई थी। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस केएम जोसेफ की बेंच ने मामले पर सुनवाई करते हुए अंतरिम आदेश देने से इनकार कर दिया। साथ ही सुनवाई की अगली तारीख 17 फरवरी तय की गयी।

चुनाव खत्म होते ही हटा पुलिस का पहरा
दरअसल, शाहीन बाग में पिछले 57 दिनों से सीएए और एनआरसी (NRC) के खिलाफ प्रदर्शन चल रहा है। वहीं प्रदर्शन की वजह से सरिता विहार से आने वाली सड़क बंद है। रविवार को प्रदर्शनकारियों ने एक अंतिम यात्रा (अर्थी) को निकलने के लिए रास्ता भी दिया। वहां लगे बेरिकेड को प्रदर्शनकारियों ने हटाया। चुनाव खत्म होते ही शाहीन बाग से चप्पे-चप्पे से पुलिस का पहरा हटा दिया है। वहीं अब स्थल पर चेकिंग भी पहले की तरह नहीं हो रही है। रविवार होने की वजह से प्रदर्शनस्थल पर लोगों की संख्या ठीक-ठाक दिखी। शाम होते ही लोगों की भीड़ बढ़ती गई। इस दौरान नागरिकता संशोधन कानून (CAA) पर पब्लिक लेक्चर का आयोजन भी किया गया।

 जामिया के छात्रों ने मतदान के लिए खाली किया सड़क
वहीं, जामिया मिल्लिया इस्लामिया (JMI) के प्रदर्शनकारी छात्रों ने शुक्रवार को मतदान के लिए मौलाना आजाद जौहर मार्ग खाली कर दिया था, लेकिन मतदान खत्म होने के साथ ही शनिवार को ही प्रदर्शनकारियों ने गेट नं. 7 पर दोबारा प्रदर्शन शुरू कर दिया। वहीं रविवार को सुबह से प्रदर्शन स्थल पर लोगों की संख्या कम थी, लेकिन दोपहर के बाद आसपास के क्षेत्रों से लोग हाथों में तिरंगा लेकर भारी संख्या में पहुंचे।

शनिवार को रास्ता खाली होने से मिला राहत
शनिवार को रास्ता खाली होने से लोगों को ट्रैफिक जाम की समस्या से राहत मिली थी, लेकिन रविवार को रास्ता बंद होने के कारण आने जाने वाले लोगों को फिर से समस्या का सामना करना पड़ा। वहीं प्रदर्शन स्थल पर कई सामाजिक कार्यकर्ता और राजनेता भी पहुंचे। पूरे दिन नारेबाजी के साथ प्रदर्शन चलता रहा। वहीं छात्र लगातार अपनी कला से जामिया की दीवारों पर कलाकारी कर रहे हैं।

जामिया में 12 फीट लंबा और 4 फीट चौड़ा इंडिया गेट (India Gate) बनाया गया है। उस गेट पर एनआरसी और सीएए के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान हिंसा में जान गंवाने वाले लोगों के नाम लिखे गए हैं। वहीं पीएचडी छात्र फरहीन का कहना है कि अभी तक सरकार की तरफ से बातचीत की कोई पहल नहीं की गई है। अब दिल्ली चुनाव भी संपन्न हो गए हैं ऐसे में हमें सिर्फ कोर्ट पर ही भरोसा है। सीएए और एनआरसी को लेकर कोर्ट का जब तक फैसला नहीं आएगा, हमारा प्रदर्शन चलता रहेगा।