कन्हैया के खिलाफ चलेगा राष्ट्रद्रोह का मुकदमा, दिल्ली सरकार ने दी इजाजत

नई दिल्ली। दिल्ली सरकार ने आखिरकार जेएनयू से उभरे नेता और सीपीआई के कार्यकर्ता कन्हैया कुमार के खिलाफ राष्ट्रद्रोह का मुकदमा चलाने की इजाजत दे दी है। भारत तेरे टुकड़े होंगे का नारा लगवाने से चर्चा में आए कन्हैया कुमार के खिलाफ मुकदमा चलाने का यह मामला काफी समय से लंबित था। दिल्ली पुलिस इस मामले की जांच पूरी कर चुकी थी पर दिल्ली सरकार की इजाजत न मिलने से मामला कोर्ट में नहीं चल पा रहा था। शुक्रवार को दिल्ली के मुख्य सचिव ने दिल्ली सरकार को इजाजत दे दी कि वह कन्हैया कुमार व अन्य के खिलाफ राष्ट्रद्रोह के मामले में अगली कार्रवाई करे।

उल्लेखनीय है कि जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्र संघ (जेएनयू स्टूडेंट्स यूनियन) के अध्यक्ष रहते कन्हैया कुमार के नेतृत्व में 9 फरवरी 2016 को विश्वविद्यालय परिसर एक प्रदर्शन हुआ था। इस प्रदर्शन में राष्ट्रविरोधी नारे लगाए गए थे। उनमें से दो नारे बहुत आपत्तिजनक थे- भारत तेरे टुकड़े होंगे-इंशाअल्लाह इंशाअल्लाह और हर घर से अफजल निकलेगा, तुम कितने अफजल मारोगे। उल्लेखनीय है कि संसद भवन पर हमले का मुख्य आरोपी अफजल गुरू ही था, जिसे बाद में सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के बाद फांसी की सजा दी गई थी।

यह नारे लगाते और लोगों का नेतृत्व करते हुए कन्हैया कुमार को साफ तौर पर देखा गया था। उसके साथ उमर खालिद और अनिरवन भट्टाचार्य भी छात्रों का नेतृत्व करते हुए देखे गए थे। कन्हैया कुमार और उमर खालिद को इस मामले में गिरफ्तार भी किया गया था और फिलहाल ये जमानत पर हैं। इस मामले में चार्जशीट फाइल हो जाने के बावजूद दिल्ली सरकार मुकदमा चलाने की अनुमति देने में देरी कर रही थी। इसके चलते न्यायालय में मामला लंबित है।

दिल्ली पुलिस के डीसीपी (स्पेशल सेल) प्रमोद कुशवाहा ने दिल्ली के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर आग्रह किया था कि कन्हैया व अन्य के खिलाफ ट्रायल चलाने की अनुमति देने के काम में गति लाएं। इसके बाद पुलिस सूत्रों के अनुसार शुक्रवार को सरकार ने इसकी इजाजत दे दी है लेकिन दिल्ली सरकार की ओर औपचारिक रूप से इस बावत पुष्टि नहीं हो पाई है।

उल्लेखनीय है कि भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 124ए के तहत दर्ज मामलों में मुकदमा चलाने के लिए राज्य सरकार की अनुमति आवश्यक होती है।