AMU : जिस तेल में बनाया मीट, उसी में तल दी शाकाहारी छात्रों के लिए पूड़ियां  

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अलीगढ़: एक बार फिर विवादों में  अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय घिरता दिख रहा है।  इस बार ऐसा मामला सामने आया है जिसने लोगो के रौंगटे खड़े कर दिए बताते चले पहले भी जिन्ना के पोस्टर और फिर छात्रों का पाकिस्तानी झंडा लहराने को लेकर काफी विवाद हो चुका है। हालांकि इस बार AMU में जो विवाद उपजा है, वह खाने को लेकर हुआ है।दरअसल, हिन्दू छात्रों ने शिकायत की है कि एक हॉस्टल के किचन में एक तेल में शाकाहारी और मांसाहारी खाना बनाया जा रहा है। हिंदू महासभा ने इसके लिए कार्रवाई की मांग की है। उनका कहना है कि जिस तेल में मांसाहारी भोजन तला जाता है, उसी तेल में पूरी तली जाती हैं।

हालांकि, विश्वविद्यालय प्रशासन ने इस आरोप को सिरे से नकारा है। एएमयू के सर सैय्यद हॉल (उत्तर) के छात्रों ने कुलपति को पत्र लिखकर आरोप लगाया कि उन्हें हाल में उसी तेल में तला हुआ भोजन दिया गया जिसमें पहले मांसाहारी भोजन तला गया था।

यह विवाद रविवार को उस वक्त सामने आया जब भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के अध्यक्ष निखिल महेश्वरी ने एक बयान जारी किया जिसमें आरोप लगाया गया कि यह हिन्दू समुदाय के खिलाफ सोची समझी साजिश है। इस बारे में रविवार को एक लिखित शिकायत बन्ना देवी पुलिस थाने में दर्ज करायी गयी है। विश्वविद्यालय प्रशासन ने इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है।

हिन्दू महासभा की पूजा शकुन ने कहा

कि धर्म भ्रष्ट करने वाली बात है। एएमयू में हमारे बच्चों को उस तेल में खाना दिया जाता है, जिसमें बीफ तला जाता है। एएमयू को बैन कर देना चाहिए। यहां धर्म भ्रष्ट करने वाले और आतंकवादियों को पाला जाता है। ये आतंकवादी जिहाद का अड्डा है।

एएमयू के प्रवक्ता प्रो शाफे किदवई ने कहा कि प्रोवोस्ट ने प्रारंभिक जांच में पाया कि यह आरोप पूरी तरह से निराधार है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय में सभी छात्रों की धार्मिक भावनाओं का सम्मान किया जाता है और ऐसा विश्वविद्यालय के गठन के समय से होता आ रहा है।

इससे पहले एएमयू कैंपस में जिन्ना की तस्वीर को लेकर विवाद हुआ था। पाकिस्तान के संस्थापक जिन्ना की तस्वीर विश्वविद्यालय के छात्र संघ के कार्यालय में होने की वजह से विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन और हिंसा भड़क उठी थी।

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