कोरोना महामारी के दौर में जब रोजमर्रा की जिंदगी संक्रमण से बचने के तरीकों के अनुसार ढल चुकी है, ऐसे में बर्ड फ्लू (egg or chicken in bird flu)की अचानक दस्तक चिंता का विषय है। हालांकि बीते दौर में भी बर्ड फ्लू से इंसानों का सामना हो चुका है, लेकिन इस वक्त चुनौती पहले से व्यापक है, देश के बहुत से राज्यों से अलर्ट भी जारी किया गया है। ऐसे में बर्ड फ्लू (egg or chicken in bird flu)से बचाव कैसे सुनिश्चित किया जा सकता है और खान पान की आदतों में किस तरह के बदलाव की आवश्यकता है बता रहीं हैं डॉक्टर मनीषा अरोड़ा, सीनियर कंसल्टेंट इंटरनल मेडिसिन, श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टीटयूट।
जैसा कि नाम से ही ज़ाहिर है यह एक प्रकार का फ्लू है जो मूल रूप से पक्षियों में होता है। दरअसल बर्ड फ्लू या एवियन इन्फ़्लुएनज़ा के बहुत से स्ट्रेन होते हैं जो पक्षियों से पक्षियों में फैलते हैं लेकिन इनमें से कुछ इंसानों को भी संक्रमित कर सकते हैं जिनमें से एक है एच5एन1 जो आजकल चर्चा में भी है। चिंताजनक यह है कि इस संक्रमण (egg or chicken in bird flu)के परिणामस्वरुप गंभीर बीमारियां हो सकती हैं जैसेः
निमोनिया,
मल्टी ऑर्गन फेल्योर
रोगी की जान को भी खतरा होता है।
संक्रमण की चपेट में आने के बाद 2 से 8 दिन में खांसी जुखाम, बुखार आदि के लक्षण दिखते हैं। अब समस्या यह है कि क्योंकि इसके लक्षण भी अन्य फ्लू के लक्षणों से मिलते जुलते हैं इसलिए इसका सही सही पता लगाना अक्सर मुश्किल हो जाता है और रोगी की संबंधित हिस्ट्री पता करना ज़रूरी हो जाता है जिसमें रोगी का पेशा, रहने की जगह, मिल चुके लोग, खान पान की आदतों आदि के जरिए पता लगाया जाता है कि उसके संक्रमित पक्षी या संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने की कितनी संभावना है।
सबसे पहले यह समझना होगा कि बर्ड फ्लू (egg or chicken in bird flu) से बचाव सुनिश्चित करने के लिए आप क्या खा रहें हैं के बजाय किस तरह से खा रहे हैं यह अधिक महत्वपूर्ण है और इसमें साफ-सफाई आदि का विशेष योगदान है। इसलिए मूल रूप से इन दो बिन्दुओं पर विशेष ध्यान दें :-
खान-पान संबंधित सावधानियां (What To Eat In Bird Flu)
आंच पर अच्छी तरह से पक कर बने चिकन या अन्य पोल्ट्री के उत्पादों के सेवन से इस संक्रमण का जोखिम नहीं होता। दरअसल पक्षी के कच्चे मीट या जिंदा पक्षी में इसका जोखिम हो सकता है। ऐसे में यदि इनका सेवन करना चाहें तो बहुत सावधानी और साफ़ सफाई के साथ इनको पकाएं। चिकन को घर लाकर फ्रिज में रखने के बजाय तुरंत पका कर खाएं। सुनिश्चित करें कि पकाने से पहले उसे बहुत अच्छी तरह धोया व साफ किया गया है। अब क्योंकि बने हुए चिकन से फ्लू का खतरा नहीं है लेकिन पोल्ट्री फ़ार्म वाली जगह का इसका बेहद जोखिम है तो ऐसे में आपको पोल्ट्री (egg or chicken in bird flu) के उत्पादों का किस तरह सावधानी से सेवन करना है या नहीं भी करना है इसे खुद तय कीजिये, लेकिन बचाव सुनिश्चित कीजिये।
पक्षियों की मार्किट, पक्षियों को पालने वाले या पक्षियों से जुड़े पेशे में कार्यरत लोगों को इसका बहुत जोखिम हो सकता है। ऐसे में इस लोगों को सचेत होने और अतिरिक्त सुरक्षा की आवश्यकता है और बाकी लोग भी जोखिम खत्म होने तक इन जगहों पर जाने से परहेज करें। और क्योंकि यह संक्रमण (egg or chicken in bird flu) इंसानों से इंसानों में ड्रॉपलेट्स के ज़रिये संक्रमित होता है, इसलिए मीट मार्केट आदि में भीड़ भाड़ हो तो विशेष तौर पर जाने से परहेज करें।
खाना खाने से पहले व बाद में साबुन से अच्छी तरह हाथ धोएं।
अपने नाक, कान आँख आदि को बार बार न छुएं।
लगातार साबुन से हाथ धोएं। अपने घर और वातावरण को शुद्ध व साफ सुथरा रखें।
बर्ड फ्लू का जोखिम टलने तक चिड़ियाघर, पोल्ट्री फ़ार्म आदि घूमने बिलकुल भी न जाएं।