
भारत के दाएं हाथ के तेज गेंदबाज भुवनेश्वर कुमार का क्रिकेट करियर पिछले दो वर्षों से चोटों से जूझ रहा है. इस तेज गेंदबाज को कई सर्जरी से गुजरना पड़ा और इस तरह भारत और उसकी आईपीएल फ्रेंचाइजी सनराइजर्स हैदराबाद के लिए काफी मैचों से बाहर होना पड़ा हैं.
भुवनेश्वर को फिर से इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के 13वें संस्करण में जांघ की मांसपेशियों में चोट लगी और फिर अपने शुरुआती चरण में ही उन्हें लीग छोड़ना पड़ा. पेसर अब बेंगलुरु में राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी (एनसीए) में पुनर्वास के दौर से गुजर रहा है और उसके अगले महीने अपना ट्रेनिंग पूरा करने की संभावना है. हालाँकि, वह IPL 2021 तक उपलब्ध नहीं होगा जो कि अप्रैल-मई में 2021 में निर्धारित है.

टाइम्स ऑफ इंडिया द्वारा बताई गई बातों के अनुसार एक अधिकारी ने कहा, “वह आईपीएल 2021 के दौरान ही खेल पाएंगे. क्योंकि वह छह महीने से प्रतिस्पर्धी क्रिकेट से बाहर हैं.”
स्पोर्ट्स फिजियोथेरेपिस्ट हीथ मैथ्यूज (जो कि वर्तमान में मुंबई इंडियन्स से जुड़े हुए हैं) ने कहा है कि भुवनेश्वर को क्लासिक चोटें लग रही हैं. मैथ्यूज ने आईएएनएस से बातचीत के दौरान बताया, “पेसर के साथ परेशानी ये है कि ये शरीर पर एक काफी दबाव डालती है. पिछले कुछ वर्षों से उनकी किस्मत उनका साथ नहीं दे रही हैं और उन्हें काफी चोटें लग रही हैं. कभी पीठ में खिंचाव, साइड स्ट्रेन तो कभी हैमस्ट्रिंग स्ट्रेन ने उन्हें परेशान किया हैं. ये सब लोअर बैक एरिया में है, जोकि अक्सर गेंदबाजों के लिए समस्या खड़ी करती है.”

भुवी अतिरिक्त गति और स्विंग उत्पन्न करने के लिए अपनी गेंदबाजी शैली को बदलने की कोशिश कर रहे हैं. यह पूछे जाने पर कि क्या भुवी के चोटों से नियमित रूप से पीड़ित होने के पीछे यह एक कारण हो सकता है, मैथ्यूज ने जवाब दिया, “कभी-कभी एक गेंदबाज जो अतिरिक्त गति और अतिरिक्त स्विंग प्राप्त करने की कोशिश कर रहा होता है, उसे सही होने के लिए कुछ सीज़न लगते हैं. कई बार, शरीर को नया तनाव लेने के लिए समायोजित करने में भी समय लगता है, नई चीजें करने की कोशिश करता है.”
“दुर्भाग्य से, यह कुछ क्षेत्रों में अतिभारित हो सकता है. कुलीन स्तर पर आप अधिकतम के इतने करीब हैं कि बदलाव करना आपके शरीर के लिए बहुत मुश्किल हो जाता है और समायोजित होने में लंबा समय लगता है.”














