बड़ी खबर : किसी और के हाथ में अब रूस की कमान, आखिर कौन है वो जो लेगा पुतिन की जगह?

रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे महायुद्ध को पूरे 2 महीने से भी ज्यादा हो चुका हैं। लेकिन बड़ी बात तो ये है कि इतना वक्त होने के बाद भी ये युद्द थमने के बजाय और बढ़ता ही जा रहा है। रूस लगातार यूक्रेन में अपने हमले तेज कर रहा है। हाल में यूक्रेनी राष्ट्रपति ने दावा किया था कि एक बार फिर रूसी सेना कीव में उनके घर के काफी करीब पहुंच चुकी हैं।

यही नहीं यूक्रेन ने भी अब तक इस युद्ध में रूस को जमकर नुकसान पहुंचाया है। इसी बीच एक बड़ी खबर हमारे सामने आ रही है, इस खबर के मुताबिक रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की जगह अब कोई और ले सकता है। यानि रूस की कमान अब किसी और के हाथों में जा सकती है। युद्ध के बीच पुतिन की जगह पर कब्जा करने के मामले में भी कुछ न कुछ राज जरूर है।

राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन अपनी जिद पर हैं कायम

अमरीका समेत तमाम देश रूस को अलग-अलग तरह से घेरने पर लगे हैं, लेकिन रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन अपनी जिद पर कायम हैं। यही वजह है कि उन्होंने अब तक युद्ध विराम नहीं किया है। वहीं दोनों देशों के बीच जितनी भी बातचीत हुई है वो नाकाम साबित हुई है।

कुछ दिनों की छुट्टी पर पुतिन

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन छुट्टी पर जा सकते हैं। दरअसल कैंसर का ऑपरेशन करवाने की वजह वे कुछ दिन छुट्टी ले सकते हैं। यही वजह है कि, पुतिन की गैरहाजिरी में रूस की कमान किसी और के हाथ में दी जाएगी।

जानिए कौन संभालेगा रूस की कमान

हर किसी की निगाह इस बात पर टिकी है कि, पुतिन की गैर मौजूदगी में रूस की कमान किसे सौंपी जाएगी। दरअसल अनुपस्थिति में रूस की कमान रूसी सुरक्षा परिषद के चीफ और खुफिया एजेंसी एफएसबी के पूर्व चीफ निकोलाई पेत्रुशेव को सौंपी जा सकती है।

दरअसल पेत्रुशेव की गिनती पुतिन के करीबी लोगों में होती है। खास बात यह है कि निकोलाई के हाथों में यूक्रेन युद्ध की कमान भी रहेगी। हालांकि दुख की बात ये हैं कि पुतिन को पेट में कैंसर है। रूसी राष्ट्रपति पुतिन को 18 महीने पहले पेट के कैंसर और पार्किंसन नाम की बीमारी का पता चला था। इसको लेकर डॉक्टरों ने पुतिन को सर्जरी की सलाह दी है। हालांकि उस दौरान काम ज्यादा होने के चलते पुतिन से इसे टाल दिया था। अब बताया जा रहा है कि इस ऑपरेशन को ज्यादा टाला नहीं जा सकता, लिहाजा पुतिन का ऑपरेशन होना तय है।

ऐसे में ये कयास लगाए जा रहे हैं कि, 9 मई को विक्टरी डे परेड में अध्यक्ष रूप में शामिल होने के बाद वह कैसर का ऑपरेशन करा सकते हैं। दरअसल निकोलाई पेत्रुशेव पुतिन के करीबियों में से एक हैं। उन्होंने ही पुतिन को यह भरोसा दिलाया था कि यूक्रेन नव-नाज़ियों से भरा हुआ है, जो रूस के खिलाफ लगातार साजिश कर रहे हैं। माना जाता है कि, पेत्रुशेव के अपडेट के बाद ही पुतिन ने यूक्रेन के खिलाफ जंग का ऐलान किया था।

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