सुल्तानपुर । घर पर मौजूद अकेली किशोरी को अगवा कर उसके साथ दुष्कर्म के मामले में फास्ट ट्रैक कोर्ट-प्रथम जज कल्पराज सिंह की अदालत ने दो आरोपियों को अलग-अलग धाराओं में दोषी करार दिया है। जिनकी सजा के बिंदु पर सुनवाई के लिए 16 मई की तारीख तय की गई है।
एक आरोपी अगवा व दुष्कर्म में तो दूसरा अगवा करने का ठहराया गया दोषी
मालूम हो कि कुड़वार थाना क्षेत्र स्थित भंगाकापुरवा-नौगवांतीर के रहने वाले आरोपी साईंलाल कोरी के खिलाफ अभियोगी ने करीब तेरह साल पहले मुकदमा दर्ज कराया। आरोप के मुताबिक 28 मार्च 2009 को दिन में अभियोगी किसी काम से गांव में चला गया था और उसकी पत्नी बकरी चराने गई थी, तभी उसकी 15 वर्षीय पुत्री को घर मे अकेला पाकर आरोपी साईंलाल अगवा कर ले गया।
सोमवार को आएगा सजा पर फैसला
मामले में अभियोगी की सूचना पर मुकदमा दर्ज हुआ। तफ्तीश के दौरान लड़की की बरामदगी हुई, पीडि़ता ने अपने बयान में अगवा कराने में नौगवांतीर निवासी आरोपी शिवदर्शन की भी संलिप्तता बताई और साईं लाल के जरिये दुष्कर्म करने की भी पुष्टि की। मामले में अपनी तफ्तीश पूरी करने के पश्चात विवेचक ने दोनो आरोपियो के खिलाफ उनकी भूमिका के अनुसार दुष्कर्म सहित अन्य आरोपो में चार्जशीट दाखिल किया। मामले का विचारण एफटीसी प्रथम की अदालत में शुरू हुआ।
इस दौरान शासकीय अधिवक्ता दान बहादुर वर्मा ने अभियोजन गवाहों को परीक्षित कराया और आरोपियो को दोषी ठहराने के लिए भरपूर पैरवी की। वहीं बचाव पक्ष ने अपने साक्ष्यों एवं तर्कों को प्रस्तुत कर आरोपियो को बेकसूर बताया। उभय पक्षों को सुनने के पश्चात एफटीसी जज कल्पराज सिंह की अदालत ने आरोपी शिवदर्शन को अगवा करने के आरोप में दोषी करार दिया है, जबकि मुख्य आरोपी साईं लाल कोरी को अगवा करने व दुष्कर्म के आरोप में दोषी ठहराया है। दोषियों की सजा के बिंदु पर सुनवाई के लिए 16 मई की तारीख तय की गई है।