
टीवी एक्ट्रेस अमरीन भट्ट के कातिल आतंकियों को सुरक्षाबलों ने गुरुवार तड़के ढेर कर दिया। अमरीन की हत्या के 48 घंटे के भीतर सुरक्षाबलों ने आतंकियों को मार गिराया है। हत्या में शामिल दोनों आतंकी लोकल टेररिस्ट थे और हाल ही में लश्कर में शामिल हुए थे। दोनों की पहचान मुश्ताक भट्ट और फरहान हबीब के रूप में हुई है। दोनों ने लश्कर के कमांडर लतीफ के कहने पर अमरीन की हत्या की थी।
एक घर में छिपे थे दोनों आतंकी
गुप्त सूचना मिलने के बाद सुरक्षाबलों ने आतंकियों को घेर लिया और करीब 5 घंटे चले एनकाउंटर में उन्हें मार गिराया। एनकाउंटर देर रात करीब साढ़े नौ बजे शुरू हुआ, जो ढाई बजे तक चला। दोनों आतंकी एक घर में छिपे थे। जम्मू-कश्मीर के IGP विजय कुमार ने सबसे पहले ट्वीट कर आतंकियों के घेरे जाने की सूचना दी थी। आतंकियों के मारे जाने के बाद इलाके में सर्च अभियान जारी है।
जानिए सौरा में कितने मारे गए आतंकी
इधर, श्रीगनर के सौरा इलाके में भी देर रात एक एनकाउंटर हुआ, जिसमें लश्कर के दो आतंकी मारे गए हैं। मौके से एक AK-47 भी बरामद किया गया है।
इस तरह की थी अमरीन पर अधाधुंध फायरिंग
बड़गाम जिले के चदूरा के हिशरू इलाके में बुधवार को TV एक्ट्रेस अमरीन भट्ट को आतंकियों ने गोली मार दी थी, जिससे उनकी मौत हो गई थी। घटना के वक्त अमरीन अपने घर के बाहर 10 साल के भतीजे के साथ खड़ी थीं। तभी अचानक आए आतंकियों ने उन पर अंधाधुंध फायरिंग कर दी। हमले के बाद दोनों की तुरंत नजदीकी अस्पताल ले जाया गया, जहां अमरीन ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया।
5 महीने में लश्कर और जैश के इतने आतंकी ढेर
जम्मू-कश्मीर पुलिस के मुताबिक जनवरी से लेकर अब तक 5 महीने में 26 विदेशी आतंकी मारे जा चुके हैं। इनमें सभी लश्कर के 14 और जैश के 12 शामिल हैं। गुरुवार को सुरक्षाबलों ने कुपवाड़ा में 3 आतंकी को ढेर किया था।
पुलिस के मुताबिक साल 2021 में 182 आतंकियों को एनकाउंटर के दौरान मार गिराया गया था। वहीं संसद में एक सवाल के जवाब में सरकार ने बताया था कि अनुच्छेद 370 हटने के बाद जनवरी 2022 तक 439 आतंकवादियों को मारा गया। जम्मू-कश्मीर से अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 हटाया गया था।
कश्मीर में बढ़ रही है लोकल टेररिस्ट की संख्या
जम्मू-कश्मीर में पिछले कुछ सालों से लोकल टेररिस्ट्स की संख्या बढ़ रही है। आठ मई तक के अपडेट आंकड़ों के अनुसार साल 2018 में 187, 2019 में 121, 2020 में 181, 2021 में 142 और 2022 में 28 स्थानीय युवा आतंकी संगठनों का हिस्सा बने। इधर, कश्मीर में पिछले 4 महीने में 460 से ज्यादा आतंकी मुठभेड़ में मारे गए हैं।