
कानपुर। संभाीगय परिवहन विभाग में 20 हजार वाहनो का लगभग 156 करोड का राजस्व बकाया है। जिसकी कार्यवाही तेजी से की जा रही है और बकायेदार कार्यालय आकर टैक्स जमा भी कर रहे है। वहीं आरटीओ प्रशासन राजेश सिंह ने बताया कि ऐसे भी वाहन है जिनका टैक्स नही लिया जा सकता है इसके बारे में रिपोर्ट बना कर उच्चाधिकारियों को प्रेषित की जा रही है। आरटीओ प्रशासन राजेश सिंह ने बताया कि संभाग में 156 करोड का राजस्व बकाया है जिसमें केवल 56 करोड रोडवेज का है जिसका भुगतान शासन स्तर पर बजट आने पर किया जाएगा।
156 करोड बकाया राजस्व में 56 करोड रोडवेज का
इसके साथ ही 50 करोड का राजस्व वसूली के योग ही नही है। जिनकी वूसली संभव नही हे उनके बारे में जानकारी देते हुए बताया कि टैम्पो ,आटो की एक समय सीमा है जिसके बीत जाने के बाद उनसे टैक्स तभी लिया जा सकता है जब वह गाडी को संरेडर कर दे या फिर परमिट निरस्त करवा ले इस दषा में टैक्स नही बनता है ,लेकिन अगर वाहन स्वामी ने इस प्रक्रिया को नही अपनाया है तो उसका टैक्स निरंतर चलता रहेगा।
कंडम और सरेंडर वाहनो से नही हो सकती है वसूली
सबसे ज्यादा राजस्व देने वाला जनपद कन्नौज और इटावा है। बकाया रिकवरी सबसे ज्यादा चालान की है जिसको रिकवर कराने की सबसे ज्यादा दिक्कत है। उन्होंने बताया कि सरकार ने पिछले साल ओटीएस यानी एक मुष्त समाधान योजना को भी लागू किया था जो कि एक माह से ज्यादा इस योजना को चलाया गया बावजूद इसके कई वाहन स्वामियों की लापरवाही के चलते उसका लाभ भी ज्यादातर लोेगो ने नही उठाया था जिसके चलते बकाया टैक्स की राषि बढ़ती चली गई। हालंकि कई लोग अब टैक्स जमा कर रहे है जिनके बकाया है और जिन्होंने अभी तक चालान का भुगतान नही किया वह भी अब कर रहे है।
राजेश सिंह, आरटीओ प्रशासन कानपुर मण्डल का बयान
चालान और टैक्स को सही समय पर न भरना वाहन स्वामियो की एक बडी लापरवाही है जिसके चलते उन पर टैक्स का बोझ बढ़ गया है। टैक्स में कोई भी छूट देने का कोई भी प्रावधान नही है जबकि पेनाल्टी में 50 प्रतिषत तक छूट दी जा सकती है। छोटे कामर्षियल वाहनो की समय सीमा समाप्त होने के बाद सरेंडर और परमिट निरस्त न कराने के कारण बकाया टैक्स चला आ रहा है जिसको वाहन स्वमी अब जमा कर रहा है।