भास्कर समाचार सेवा
पुरोला। आबकारी विभाग की मिलीभगत से रामा-कमल सिरांई क्षेत्र में दर्जनों गांव में कच्ची शराब धड़ल्ले से बन व बिक रही है जिससे गांव में युवा पीढ़ी बर्बादी के कगार पर है।
क्षेत्र के रामा, बेस्टी, ढुकरा, धडोली, मेहराणा, ढकाडा, चालनी, धामपुर,चपटाडी, हुडोली, देवदूंग, सुनाली, नेत्रीअंदोणी, घुंडाडा समेत दर्जनों गांव तोकों में धड़ल्ले से आबाकारी विभाग की सह पर कच्ची शराब बनाने का धंधा जारी है। आबाकारी विभाग को लेकर लोगों में भारी आक्रोश है। हालांकि नशामुक्ति को लेकर गांव-गांव में बने मातृ संगठन कई बार कच्ची शराब समेत चरस, गांजा, स्मैक के विरोध में जुलूस प्रर्दशन कर प्रशासन व आबाकारी विभाग से ग्रामीण क्षेत्रों में नशे के कारोबार और नशेड़ियों पर अंकुश लगानें की मांग करती आ रही है लेकिन क्षेत्र में नशाखोंरी का धंधा बदस्तूर जारी है। ग्रामीण क्षेत्रों में नशेड़ी युवाओं की फौज खड़ी हो रही है।
मातृ संगठन ने बताया कि नगर पंचायत क्षेत्रांतर्गत पुलिस ने चरस व स्मैक के नशेड़ियों पर शिकंजा कसा है, कईयों को जेल भी भेजा लेकिन फिर से नगर क्षेत्र में तस्कर सक्रिय हो गए है जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में कच्ची शराब का धंधा आबाकारी कर्मचारियों की मिलीभगत से परवान चढा हुआ है। समाजिक कार्यकर्ता गोपाल नौटियाल ने आबाकारी विभाग पर मासिक वसुली बांध गांव-गांव में कच्ची शराब बनाने वालों को संरक्षण देकर शराब की सरकारी दुकानों पर बिक्री ठप कर सरकार को लाखों का राजस्व का नुकसान का आरोप लगाया। आबाकारी निरीक्षक यशवंत सिंह का कहना है कि पुरोला मोरी में कच्ची शराब बनाने वालों पर कई बार छापामारी की जा चुकी है व कईयों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज है। कच्ची शराब के खिलाफ वृहद छापामारी अभियान चलाया जा रहा है।
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