सीतापुर: गौशाला की 36 बीघा जमीन कराई कब्जा

अटरिया-सीतापुर। विकासखंड सिधौली के अंतर्गत ग्राम पंचायत सराय में गौशाला निर्माण के लिए पैमाईश की गई जिसमें लगभग 36 बीघा जमीन जो कि स्थानीय किसानों द्वारा कब्जा कर खेती की जा रही थी। जिसकी पैमाइश कानूनगो लेखपाल व प्रशासन द्वारा करवा कर कब्जा मुक्त कराई गई। 36 बीघा जमीन पर लगभग 20-25 लोगों द्वारा कब्जा किया गया था। कब्जा मुक्त जमीन पर अधिकारियों द्वारा चूना डालकर मेङबंदी का कार्य करवाया। इस वृहद गौशाला की क्षमता लगभग 1500 से 2000 गोवंशों की होगी।

इस वृहद गौशाला में तमाम सुविधाएं दी जाएंगी। गोवंशों के लिए लगभग 25 बीघा जमीन जो की चरागाह के रूप में दी जाएगी व साथ ही साथ वहां चारे के लिए भूसे का गोदाम व ऑफिस का भी प्रावधान सम्मिलित हैं। सूत्रों की माने तो सरांय ग्राम पंचायत का गौशाला आज से लगभग दो साल पहले ही प्रस्तावित हो गया था किन्तु अधिकारियों की लापरवाही के चलते टालमटोल हो रहा था। जिलाधिकारी अभिषेक आनंद के कङे शब्दों ने इसे गति प्रदान की और गौशाला निर्माण का कार्य शुरू हुआ।

बताते चलें कि जिलाधिकारी अभिषेक आनंद की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में गौ संरक्षण एवं गौ श्रेष्ठ स्थलों के सफल संचालन हेतु जनपद स्तरीय अनुसरण मूल्यांकन का समीक्षा समिति की बैठक कर ऐलान किया गया। अभिषेक आनंद ने सभी संबंधित अधिकारियों से नए गौशालाओं के निर्माण के संबंध में जानकारी लेते हुए निर्देश दिए की सभी संबंधित अधिकारी उप जिलाधिकारी से समन्वय स्थापित कर जमीन चिन्हित करा लें ताकि नए गौशालाओं का निर्माण जल्द से जल्द हो सके साथ ही यह भी निर्देश दिए कि जो भी जमीन चिन्हित की जाए उसमें जल भराव न होने पाए और यह भी सुनिश्चित किया जाए

बृहद गौशालाओं हेतु जिन लोगों ने प्रस्ताव अभी तक नहीं भेजे हैं वह जल्द से जल्द प्रस्ताव भेजें। बृहद गौ संरक्षण केंद्रों की स्थापना योजनाअंतर्गत ग्राम सराय विकास खंडवा सिधौली में कार्यदाई संस्था उत्तर प्रदेश राज्य निर्माण एवं श्रम विकास सहकारी संघ लिमिटेड लखनऊ को कार्य में लापरवाही करने व कार्यों को समय से प्रारंभ न करने पर जुर्माना लगाये जाने हेतु संबंधित को निर्देशित किया।

जिसको लेकर सभी अधिकारियों में अफरा तफरी मच गई। जनपद सीतापुर के ग्राम सराय विकासखंड सिधौली में वृहद गौ संरक्षण केंद्र के निर्माण हेतु यू0पी0सी0एल0डी0एफ0 को कार्यदाई संस्थान अमित किया गया है इसके निर्माण हेतु जिलाधिकारी के निर्देश 20 मार्च 2024 द्वारा भूमि पशुपालन विभाग को प्रदान की गई थी। जिसको लेकर संस्था द्वारा समस्त लेखपाल कानून को टीम द्वारा भूमिका नाप जोख कराया गया।

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