बहराइच। वर्तमान समय में रबी फसलों की बुआई के समय फसल वेसल ड्रेसिंग हेतु कृषकों को उनकी जोतबही/खतौनी के आधार पर निर्धारित मूल्य पर फास्फेटिक उर्वरकों यथा डी.ए.पी., एन.पी.के. एवं एस.एस.पी. इत्यादि की उपलब्धता सुनिश्चित कराये जाने के उद्देश्य से जिलाधिकारी मोनिका रानी ने इफ्को द्वारा संचालित सहकारी समिति बी. पैक्स चिलवरिया व बहादुरापुर का आकस्मिक निरीक्षण कर स्टाक पंजिका में दर्शायी गई उपलब्धता को गोदाम में उपलब्ध बोरियों की संख्या को गिनवाकर भौतिक सत्यापन किया तथा गोदाम व वितरण पंजिका का सघन निरीक्षण करते हुए ए.आर. को-आपरेटिव संजीव तिवारी को निर्देश दिया कि सभी पंजिकाओं को अद्यतन रखा जाय।
बिक्री, वितरण एवं स्टाक पंजिका के अवलोकन के दौरान डीएम द्वारा रैण्डम तिथियों के आधार पर बिक्री की गई उर्वरक की मात्रा का मिलान खारिज पंजिका से करते हुए निर्देशित किया कि प्रविष्टियों को अद्यतन रखा जाय। साथ हीं स्टाक पंजिका के अवलोकन करने पर पाया गया कि वितरण पंजिका को अपडेट नहीं किया गया तथा वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा पंजिकाओं का अवलोकन न करने तथा क्रेता किसान की खतौनी का विवरण भी अद्यतन न पाये जाने पर कड़ी नाराज़गी जताते हुए ए.आर. को-आपरेटिव को निर्देश दिया कि शासन द्वारा निर्धारित गाइडलाइन के अनुसार कृषकों को उर्वरक का वितरण सुनिश्चित कराये जाने हेतु सभी स्टेक होल्डर्स के साथ वृहद कार्यशाला आयोजित कर शासनादेश की जानकारी उपलब्ध कराई जाय।
डीएम मोनिका रानी ने निर्देश दिया है कि कृषकों को उर्वरकों की बिक्री करते समय उनकी जोतबही/खतौनी में अंकित कृषित भूमि एवं बोई जाने वाली फसलों की निर्धारित संस्तुतियों के अनुसार पी.ओ.एस. मशीन के माध्यम से उर्वरकों की बिक्री सुनिश्चित करायी जाये। साथ ही सभी उर्वरक विक्रेताओं द्वारा विक्रय रजिस्टर पर अनिवार्य रूप से पूर्ण विवरण अंकित किया जाय। क्रेता कृषक की जोतबही/खतौनी एवं बोई जाने वाली फसल का विवरण तथा आधार नम्बर भी अनिवार्य रूप से अंकित करें।
डीएम ने ए.आर. को-आपरेटिव को निर्देश दिया है कि जिले में प्राप्त होने वाली उर्वरकों का सुगमतापूर्वक कृषकों की मांग/आवश्यकता के अनुरूप वितरण किये जाने हेतु साधन सहकारी समितियों एवं अन्य सहकारी संस्थाओं तथा निजी क्षेत्र के प्रत्येक उर्वरक बिक्री केन्द्र पर उर्वरक की बिक्री की सतत निगरानी किये जाने हेतु कृषि, सहकारिता, ग्राम्य विकास विभाग एवं यथावश्यकता अन्य विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों की बिक्री केन्द्रवार ड्यूटी लगाई जाये तथा प्रत्येक अधिकारी/कर्मचारी द्वारा अपने निरीक्षण के समय बिक्री केन्द्रों पर उर्वरक वितरण रजिस्टर पर कृषकों की जोतबही/खतौनी एवं बोई जाने वाली फसल का विवरण अंकित किये जाने का भी सत्यापन किया जाय।
डीएम ने ए.आर. को-आपरेटिव को निर्देश दिया कि यदि उर्वरक विक्रेता निर्धारित दर से अधिक दर पर उर्वरक बिक्री करता पाया जाय तो उसके विरूद्ध उर्वरक नियंत्रण आदेश 1985 व आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के प्राविधान के अनुसार प्रभावी विधिसंगत कार्यवाही सुनिश्चित की जाये।
डीएम ने निर्देश दिया कि फुटकर उर्वरक विक्रेताओ के साथ थोक उर्वरक विक्रेताओं एवं बफर स्टाकिस्टों के प्रतिष्ठानों का सघन निरीक्षण कर यह सुनिश्चित किया जाय कि कोई थोक विक्रेता स्थानीय स्तर पर उर्वरक का अनावश्यक भण्डारण कर उर्वरकों का कृत्रिम अभाव उत्पन्न न करने पाये। डीएम ने कहा कि यदि कहीं पर अधिक भण्डारित स्टाक पाया जाता है तो उसे तत्काल बाज़ार में कृषकों के लिये बिक्री हेतु अवमुक्त कराएं साथ ही दोषियों के विरूद्ध सुसंगत प्राविधानों के अन्तर्गत विधिक कार्यवाही भी सुनिश्चित की जाये।