राजस्थान में बारिश का कहर: 18 जिलों में डबल अलर्ट, 6 जिलों में स्कूल बंद, जानिए यूपी का हाल

जयपुर । बंगाल की खाड़ी से सक्रिय हुआ डिप्रेशन सिस्टम अब राजस्थान में पूरी तरह सक्रिय हो गया है। इसके असर से प्रदेश के कई जिलों में भारी बारिश का दौर लगातार जारी है, जिससे जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हो रहा है। मौसम विभाग ने शनिवार को राज्य के 18 जिलों के लिए डबल अलर्ट जारी किया है। इनमें से कई जिलों में मूसलधार बारिश और आकाशीय बिजली गिरने की चेतावनी दी गई है। हालात की गंभीरता को देखते हुए कोटा, बारां, झालावाड़, बूंदी, अजमेर और राजसमंद में स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई है।

इन जिलों में शनिवार को सभी निजी व सरकारी स्कूलों को बंद रखने का आदेश जारी किया गया है। कहीं नर्सरी से 8वीं तक तो कहीं 12वीं तक के स्कूलों में अवकाश रहेगा। हालांकि, शिक्षकीय और गैर-शिक्षकीय कर्मचारियों को अपने निर्धारित समय पर स्कूल में उपस्थित रहना होगा।

बारां जिले में मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी गेंदा लाल रैंगर ने नर्सरी से 12वीं तक सभी स्कूलों में अवकाश की घोषणा की। राजसमंद में जिला कलेक्टर ने कुंभलगढ़ व देवगढ़ ब्लॉक के लिए स्कूलों में सार्वजनिक अवकाश घोषित किया है। कोटा में जिला कलेक्टर पीयूष समारिया, अजमेर, झालावाड़ और बूंदी के मुख्य जिला शिक्षा अधिकारियों ने भी स्कूल बंद रखने के आदेश दिए हैं। राजधानी जयपुर में शुक्रवार देर रात से बारिश का दौर शुरु हुआ जो शनिवार सुबह तक जारी रहा। सुबह स्‍कूली बच्‍चे भीगते हुए स्‍कूल पहुंचे। सडकों पर जल भराव होने के कारण सुबह आफिस जाने वालों को दिक्‍कतों का सामना करना पडा। जलभराव के कारण कई मार्गों पर सुबह जाम की स्थिति बन गई।

मौसम विभाग ने शनिवार को कोटा और बूंदी जिलों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। नागौर, अजमेर, जैसलमेर और बाड़मेर में ऑरेंज अलर्ट घोषित किया गया है, जहां भारी बारिश के साथ तेज हवा और आकाशीय बिजली गिरने की संभावना जताई गई है। जयपुर, जोधपुर, पाली, भीलवाड़ा, उदयपुर सहित 14 जिलों में येलो अलर्ट जारी हुआ है, जहां मध्यम से भारी बारिश हो सकती है।इधर प्रदेश में लगातार जारी बारिश के कारण कई क्षेत्रों में हालात चिंताजनक हो गए हैं। राजसमंद के कुंभलगढ़ क्षेत्र के ओड़ा गांव में तालाब ओवरफ्लो हो जाने से स्कूल वैन पानी में फंस गई, जिसमें तीन बच्चों सहित सात लोग सवार थे। बहाव तेज होने से सभी फंस गए। सूचना पर पहुंची सिविल डिफेंस टीम और ग्रामीणों ने दो घंटे की मशक्कत के बाद सभी को सुरक्षित बाहर निकाला। जोधपुर के अरना-झरना क्षेत्र में एक युवक की डूबने से मौत हो गई, वहीं सीकर जिले में भी 13 वर्षीय बालक की डूबकर मृत्यु हो गई।

बारिश का कहर केवल जनजीवन तक ही सीमित नहीं रहा, बल्कि इससे कई बांध भी लबालब हो गए हैं। बीसलपुर बांध करीब 80% तक भर चुका है। प्रदेश के 213 सूखे बांधों में जल आवक शुरू हो गई है, जिनमें से 76 बांध लबालब हो गए हैं। बालोतरा की लूणी नदी में पानी आने पर ग्रामीणों ने खुशी में डांस कर उत्सव मनाया।

बीते 24 घंटे में प्रदेश के कई हिस्सों में मूसलधार बारिश हुई। प्रतापगढ़ में 148 मिलीमीटर, धौलपुर के सरमथुरा में 140 मिलीमीटर, बूंदी के नैनवां में 98 मिलीमीटर, अजमेर के मांगलियावास में 89 मिलीमीटर, पाली के देसूरी में 96 मिलीमीटर बारिश हुई। बारिश से तापमान में भी गिरावट आई है, जिससे मौसम ठंडा हो गया है, लेकिन सड़कों पर जलभराव और यातायात व्यवस्था प्रभावित हुई है।

जयपुर मौसम केंद्र के अनुसार, रविवार से बारिश की गतिविधियों में थोड़ी कमी आने की संभावना है, लेकिन फिलहाल स्थिति सामान्य नहीं है।\

प्रयागराज में उफान पर हैं गंगा—यमुना, जल स्तर में हो रही वृद्धि

प्रयागराज । पतित पावनी मां गंगा एवं यमुना नदियों का जलस्तर शुक्रवार की शाम से तेजी से बढ़ रहा है। शनिवार सुबह भी जल स्तर में वृद्धि दर्ज की गई। कछारी इलाके में रह रहे लोग अब अपना सामान समेट कर ऊंचे स्थानों पर जा रहे है।

जलस्तर बढ़ने की आशंका को लेकर एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें सक्रिय कर दी गई है। निचले इलाकों में जलभराव न होने पाए, इसके लिए वाटर लिफ्टर भी मंगाए गए हैं। शनिवार सुबह 8 बजे यमुना के जलस्तर में वृद्धि दर्ज की गई। इस समय यमुना के नैनी में 82.63 मीटर पर पानी पहुंच गया है। लगभग 118 सेंटीमीटर पानी बढ़ा है। इसी तरह गंगा के फाफामऊ घाट पर 82.61 मीटर पर जलस्तर पहुंच गया। इस घाट पर लगभग 74 सेंटीमीटर पानी बढ़ गया है। बक्सी बांध में नदी का जल स्तर 82.65 पर पहुंच गया है। यहां 84 सेंटीमीटर वृद्धि दर्ज की गई। इसी तरह वाराणसी की ओर छतनाग घाट पर 82.13 मीटर जलस्तर पहुंचा। यहां लगभग 84 सेन्टीमीटर जलस्तर में वृद्धि दर्ज की गई। हालांकि सभी बंधे सुरक्षित है। जलस्तर 79.50 मीटर से अधिक होने पर दर्ज किया गया है।

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