
इंदौर । शहर में कोरोना का कहर कम होने का नाम नहीं ले रहा है। रविवार को जहां राहत भरी खबर थी कि केवल 8 मरीज ही कोरोना संक्रमित मिले हैं, वहीं सोमवार की सुबह आई रिपोर्ट में 22 मरीज मिले हैं। वहीं एक मरीज की मौत के बाद इस बीमारी से मौतों का आंकड़ा 33 तक पहुंच गया है।
नए मरीजों में डॉक्टर, अधिकारी और सिपाही
इन्दौर मेडिकल कॉलेज द्वारा कोरोना संक्रमितों की जांच में 22 लोगों की रिपोर्ट पॉजीटिव आई है। इनमें से 2 मरीज देवास और सनावद के हैं, जबकि 20 मरीज इन्दौर के ही हैं। इन सबका इलाज एमवाय अस्पताल में चल रहा है। इन मरीजों में 9 मरीज नए क्षेत्रों के हैं। नए मरीजों में जेलरोड में रहने वाला एक डॉक्टर भी शामिल हैं। इसके साथ ही इंदौर विकास प्राधिकरण के जनसंपर्क एक अधिकारी भी कोरोना संक्रमित पाए गए हैं। वहीं डीआईजी ऑफिस में पदस्थ एक सिपाही रामनरेश पटेल की रिपोर्ट भी पॉजीटिव आई है। इसकी पुष्टि डीआईजी हरिनारायण चारी मिश्र ने की है।
इसके साथ ही स्कीम नंबर 114, लीाल विहार कालोनी, कादम्बरी नगर, जेल रोड, कान्यकुज नगर, पाटनीपुरा, ग्रेटर तिरूपति, हुकुमचंद कालोनी तथा गोयल विहार नए क्षेत्र हैं, जहां कोरोना संक्रमण फैला है। 22 में से एक महिला देवास निवासी है, वहीं एक अन्य महिला सनावद के ग्राम बुरूद की रहने वाली है। देवास की महिला का एमवाय के टीबी अस्पताल तो सनावद की महिला का बाम्बे हस्पताल में इलाज किया जा रहा है। बाकी सभी का इलाज एमवाय अस्पताल में हो रहा है।
दिल्ली की रिपोर्ट के बाद शहर में एक साथ बढ़ सकते हैं मरीज
शहर में आज रात तक एक साथ कोरोना वायरस के संक्रमित मरीज एक साथ बढ़ सकते हैं। दरअसल प्रशासन द्वारा जांच के लिए दिल्ली भेजे गए लगभग 1100 सैंपलों की रिपोर्ट आज देर रात या कल सुबह मिलना है। इसके आते ही बड़ी संख्या में पॉजिटिव मरीज सामने आ सकते हैं, क्योंकि एक साथ इतने सैंपलों की रिपोर्ट पहली बार आएगी। प्रशासन ने इंदौर से विशेष विमान से 1100 से ज्यादा सैंपल जांच के लिए नोएडा की सरकारी लैब में भेज दिए। प्रदेश के कुछ अन्य शहरों के सैंपल भी भेजे गए हैं। सैंपल की जांच नोएडा स्थित नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी) की लैब में की जा रही है। यहां से आज रात या कल सुबह रिपोर्ट आ जाएगी।
1400 की जांच लंबित थी
गौरतलब है कि एमजीएम मेडिकल कॉलेज में हर दिन लगभग 200 सैंपलों की जांच हो रही थी। उधर हर दिन 400 के लगभग सैंपल जांच के लिए आ रहे थे। पिछले कुछ दिनों से शहर में सर्वे शुरू हो चुका है, जिसमें सैंपलों की संख्या में एकाएक इजाफा हुआ है। इसके चलते इनकी पेंडेंसी बढ़ती जा रही थी। अलग-अलग इलाकों से कोरोना संदिग्ध मरीजों के लगभग 1400 सैंपल की जांच लंबित थी। इसे देखते हुए बाहर जांच कराने का निर्णय लिया गया, जिससे जल्दी रिपोर्ट मिल जाए और मरीजों का उपचार शुरू किया जा सके।















