देहरादून, । उत्तराखंड के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री सतपाल महाराज और उनकी पत्नी तथा पूर्व मंत्री अमृता रावत ने कोरोना से जीवन की जंग जीत ली है। दोनों लोगों की एक निजी पैथॉलोजी की जांच रिपोर्ट अब निगेटिव प्राप्त हुई है। करीब एक सप्ताह पूर्व ही उन्हें अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स), ऋषिकेश से डिस्चार्ज किया गया था। तब से ये गृह एकांतवास (होम क्वारंटाइन) में हैं।
उल्लेखनीय है सतपाल महाराज के पूरे परिवार और स्टाफ के 17 लोगों को कोरोना हो गया था। सबसे पहले महाराज की पत्नी एवं राज्य की पूर्व मंत्री अमृता रावत की कोरोना की रिपोर्ट 30 मई को पॉजिटिव प्राप्त हुई थी, जिसके अगले दिन उन्हें एम्स में भर्ती कराया गया था और परिवार के अन्य लोग देहरादून के एक पंचतारा होटल में एकांतवास में चले गए थे। हालांकि इनकी रिपोर्ट भी पॉजिटिव आने के बाद सतपाल महाराज, उनके दोनों पुत्रों तथा बहुओं और पोते को भी बाद में एम्स में भर्ती कराया गया था। करीब एक पखवाड़ा एम्स में भर्ती रहने के बाद पिछले सप्ताह ही सतपाल महाराज और अमृता रावत को एम्स से डिस्चार्ज किया गया था। परिवार के अन्य सदस्यों को उससे पहले ही डिस्चार्ज कर दिया गया था। हालांकि एम्स से डिस्चार्ज किए जाने के बाद से परिवार के सदस्य 14 दिन के गृह एकांतवास में हैं।
सतपाल महाराज और उनके पारिवारिक सदस्यों के संक्रमित होने के बाद भाजपा कार्यकर्ताओं और उनके अनुयाइयों ने महाराज और उनके परिवार के सदस्यों के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना करते हुए जगह जगह पूजा-अर्चना और हवन भी किया।
कोरोना रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद सतपाल महाराज, अमृता रावत और पुत्रबधू मोहिना सिंह ने कहा कि भाजपा कार्यकर्ताओं और सभी शुभचिंतकों की शुभकामनाओं और प्रार्थना का ही परिणाम है कि उन्हें फिर से जनता की सेवा करने का अवसर प्राप्त होगा। सतपाल महाराज ने कोरोना संक्रमण के दौरान सहयोग देने के लिए राज्य सरकार, स्थानीय प्रशासन, चिकित्सकों और नर्सिंग स्टाफ का आभार व्यक्त करते हुए पूरे विश्व को इस वैश्विक महामारी से शीघ्र मुक्ति की कामना की है। उन्होने कोरोना को शिकस्त देने के लिए सभी से शारीरिक दूरी का पालन करने के साथ साथ मास्क और सैनेटाइजर तथा अन्य जरूरी दिशा-निर्देशों का पालन करने का आह्वान किया है।