अयोध्या। धोखाधड़ी करके 10 लाख रुपए हड़प करने के मामले में आरोप पत्र भेजे जाने की भ्रामक आख्या न्यायालय में पेश करना विवेचक नगर कोतवाल को महंगा पड़ गया। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रशांत शुक्ला ने प्रकरण को गंभीरता से लेते हुए नगर कोतवाल अश्वनी पांडे को व्यक्तिगत रूप से स्पष्टी करण के लिए न्यायालय में 4 मई को तलब होने का आदेश पारित किया है। इसके पहले वादी जगन्नाथ के पक्ष से वरिष्ठ अधिवक्ता अजय वर्मा ने संबंधित न्यायालय में मानिटरिंग आफ इन्वेस्टिगेशन की अर्जी प्रस्तुत किया था। विवेचक द्वारा न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल करने की भ्रामक रिपोर्ट दी गई जबकि कार्यालय के अनुसार मामले में आरोप पत्र न्यायालय में प्राप्त नहीं है।
इसलिए अधिवक्ता ने विवेचक को तलब करने की न्यायालय में अर्जी प्रस्तुत किया था। यह मामला पूरा कलंदर थाना क्षेत्र के महेशपुर गांव का है। जगन्नाथ ने यह मुकदमा थाना पूरा कलंदर में अपराध संख्या 704 / 2022 अंतर्गत धारा 406 420 504 506 भादवि के तहत दर्ज कराया था। वादी मुकदमा के वृद्धावस्था और अनपढ़ होने का अनुचित लाभ उठाकर गांव के जयप्रकाश वर्मा व उनके पुत्र कृष्ण पटेल क्रेडिट कार्ड व अन्य संस्थाओं से ऋण दिलाने का लालच देकर कचहरी लाए और तमाम कागजों पर हस्ताक्षर करवा कर फोटो खिंचवाया तथा उसके बैंक ऑफ बड़ौदा के खाते से अपने खाते में 10 लाख रुपए ट्रांसफर कर हड़प लिए। साथ ही उसकी जमीन का एग्रीमेंट राकेश कुमार पांडे व विजय प्रताप सिंह के नाम करवा दिया।