अयोध्या में इस वर्ष दीपोत्सव का आयोजन ऐतिहासिक होने जा रहा है। राम की नगरी में 25 लाख दीप जलाए जाएंगे, जिससे पूरे शहर को रोशनी से जगमगाने का अद्भुत दृश्य देखने को मिलेगा। यह न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि सांस्कृतिक धरोहर को भी पुनर्जीवित करने का एक महत्वपूर्ण अवसर है।
इस बार का दीपोत्सव विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह राम मंदिर निर्माण की पृष्ठभूमि में मनाया जा रहा है। सरकार और स्थानीय प्रशासन ने इसे भव्य तरीके से मनाने की तैयारियां पूरी कर ली हैं। दीप जलाने के इस समारोह में लाखों लोग शामिल होंगे, जो अपने घरों और मंदिरों में दीपक जलाकर इस उत्सव का हिस्सा बनेंगे।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस अवसर पर कहा कि यह कार्यक्रम अयोध्या की धार्मिक पहचान को मजबूत करेगा और पर्यटन को भी बढ़ावा देगा। उन्होंने सभी लोगों से अपील की है कि वे इस आयोजन में बढ़-चढ़कर भाग लें और अयोध्या को रोशनी से भर दें।
साथ ही, विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भी आयोजन किया जाएगा, जिसमें रामायण की प्रस्तुति, संगीत और नृत्य शामिल हैं। इस बार दीपोत्सव में विशेष रूप से युवाओं और बच्चों को जोड़ने के लिए कई प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जाएंगी।
इस भव्य आयोजन से न केवल अयोध्या की सुंदरता में इजाफा होगा, बल्कि यह भारत की सांस्कृतिक एकता और धार्मिक सहिष्णुता का प्रतीक भी बनेगा। दीपोत्सव का यह समारोह एक बार फिर अयोध्या को विश्व के नक्शे पर उजागर करेगा और भारतीय संस्कृति की विविधता को प्रदर्शित करेगा।
अयोध्या का यह दीपोत्सव, जहां दीपों की महिमा है, एक नए इतिहास की शुरुआत करने जा रहा है। सभी तैयारियां अंतिम चरण में हैं, और अयोध्या का हर कोना दीपों से सजने के लिए तैयार है।