बहराइच। विकास भवन सभागार में आयोजित किसान दिवस की अध्यक्षता करते हुए मुख्य विकास अधिकारी कविता मीना ने जिले के किसानों का आहवान किया कि परम्परगत खेती के साथ नित्य नई तकनीक, नवाचार, वैज्ञानिक शोधों तथा कृषि आधारित व्यवसाय, पशुपालन, मौनपालन एवं औद्यानिक खेती को अपनाकर अपनी आय में गुणात्मक इज़ाफा करें। सीडीओ ने जिले के कृषकों से कहा कि कृषि एवं एलायड विभाग द्वारा संचालित योजनाओं का लाभ उठाते हुए कृषि के क्षेत्र में नवाचार को अपनाने में कतई संकोच न करें। उन्होंने कहा कि हो सकता है पहले प्रयास में आपको सफलता न मिले परन्तु पहले प्रयास से मिला अनुभव आपके सम्पूर्ण जीवन में काम आने वाला है।
सीडीओ कविता मीना ने कहा कि कृषकों के प्रयास से आकांक्षात्मक जनपद में अच्छा कार्य हुआ है। जिसके लिए जिला, प्रदेश व राष्ट्रीय स्तर पर कृषकों को सम्मान प्राप्त होने जिले को अनेको बार गौरान्वित होने का मौका मिला है। मुख्य विकास अधिकारी ने कृषकों को सुझाव बाज़ार की मांग के अनुसार फसलों का चयन करें इससे आपको अपनी उपज बेचने में आसानी तो होगी साथ ही अच्छा मूल्य भी प्राप्त होगा। उन्होंने कृषकों सुझाव दिया कि नवाचार के रूप में लेमन ग्रास की खेती को अपनाकर न्यूनतम 68 हज़ार प्रति एकड़ आज अर्जित की जा सकती है। उन्होंने बताया कि लेमन ग्रास की एक बार बोआई करने पर आगामी छः वर्ष तक फसल प्राप्त की जा सकती है।
बैठक के दौरान प्रगतिशील कृषक बब्बन सिंह एवं राजेश कुमार विश्वास व अन्य ने पयागपुर क्षेत्र अन्तर्गत लगभग 05 हज़ार हे. भूमि को जलभराव की समस्या से निजात दिलाये जाने हेतु जमुआर नाला निर्माण कार्य को यथाशीघ्र पूर्ण कराये जाने की मांग की। इस सम्बन्ध में सरयू नहर खण्ड के अधिशासी अभियन्ता को निर्देश दिया कि मौके की जांच कर आख्या प्रस्तुत करें। ओंकार नाथ पाण्डेय ने अलादादपुर में निर्मित ओवरहेड टैंक से जलापूर्ति न हो पाने की समस्या का समाधान कराये जाने की मांग पर अधि.अभि. जल निगम को अपेक्षित कार्यवाही के निर्देश दिये गये।
किसान दिवस के दौरान पंजाब अमृतसर से आये ब्लैक आई संस्था के प्रतिनिधि राखी रंजन सोनी ने जेमन ग्रास खेती के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए कृषकों को सुझाव दिया कि लेमनग्रास की खेती के उपरान्त उपज के विपणन में संस्था द्वारा अपेक्षित सहयोग प्रदान किया जायेगा। जिला कृषि अधिकारी सतीश कुमार पाण्डेय ने जिले में खाद एवं बीज की उपलब्धता के बारे में जानकारी प्रदान करते हुए कहा कि जिले में खाद एवं बीज की कोई कमी नहीं है। प्रभारी अधिकारी कृषि विज्ञान केन्द्र डॉ. के.एम. सिंह ने तिलहनी फसलों में सल्फर का उपयोग करने तथा वर्तमान धान की फसल में रोगों से बचाव के बचाव के बारे में सुझाव देते हुए कहा कि एन.पी.के. 05234 की 01 कि.ग्रा. व बोरान तथा एसीटामापेट की 100-100 ग्राम का छिड़काव करने से धान की बालियों के दाने स्वस्थ रहेंगे।
उप निदेशक कृषि टी.पी. शाही ने किसानों को अवगत कराया कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना अन्तर्गत आगामी किश्तें केवल उन्हीं किसानों को भुगतानित की जाएंगी जिनका भूलेख अंकन, बैंक खातों की आधार सीडिंग तथा पीएम-किसान पोर्टल पर ईकेवाईसी का कार्य पूर्ण हो चुका है।
श्री शाही ने बताया कि केन्द्र सरकार के कृषि व किसान कल्याण मंत्रालय के निर्देशों के अनुसार अधिकाधिक किसानों को लाभ प्रदत्त करने के उद्देश्य से ईकेवाईसी की अनिवार्यता में शिथिलता प्रदान करते हुए 14वीं किश्त का भुगतान कर दिया गया था परन्तु अब आगामी किश्तें केवल उन्हीं किसानों को भुगतानित की जायेंगी. जिनका भूलेख अंकन, बैंक खातों की आधार सीडिंग तथा पीएम-किसान पोर्टल पर ईकेवाईसी का कार्य पूर्ण हो चुका है। श्री शाही ने किसानों को सुझाव दिया कि तहसील एवं ब्लाक स्तर पर राजकीय कृषि बीज भण्डारों पर संचालित पीएम-किसान सेवा केन्द्र/शिविर के माध्यम से ईकेवाईसी, आधार सीडिंग तथा भूलेख अंकन से सम्बन्धित कार्यवाही पूर्ण करा लें ताकि पेंशन प्राप्त करने के असुविधा न हो।
इस अवसर पर प्रगतिशल कृषक रामफेर पाण्डेय, ओमपाल सिंह, राम सागर वर्मा, अम्बिका प्रसाद, मुन्ना लाल वर्मा, अमित कुमार सिंह, मनोज कुमार वर्मा, चूरामणि उपाध्याय, लालता प्रसाद गुप्ता, शशांक सिंह, फूलचन्द गिरी, अभिषेक शुक्ला, विनय सिंह सहित अन्य एफपीओ निदेशकों/सदस्यों द्वारा संचालित गतिविधियों के बारे में जानकारी प्रदान की गई। किसान दिवस के दौरान 02 एफपीओ के शेयरधारकों को सीडीओ द्वारा अंश प्रमाण-पत्र का वितरण किया गया। इस अवसर पर सम्बन्धित अधिकारी तथा बड़ी संख्या में प्रगतिशील कृषक मौजूद रहे।