बांदा : यूक्रेन-रूस युद्ध में फसा एक और छात्र, गले में अटकी परिवार की जान

सरकार से कर रहे सुरक्षित वापस लाने की अपील

अब तक एक छात्रा समेत तीन के फंसे होने की खबर

बांदा। यूक्रेन में रूस के बढ़ते हमले से वहां रह रहे भारतीय छात्रों की जान सांसत में फंसी है। इसमें शहर के सेढ़ू तलैया मोहल्ला निवासी हेमेंद्र सिंह भी दोनों देशों के बीच युद्ध में फंस गया है। वह पिछले तीन दिनों से बिहार निवासी दोस्त इमरान के साथ मेट्रो टनल में शरण लिए है। उधर, यूक्रेम में बिगड़ते हालत के बाद माता-पिता समेत परिजनों की जान गले में अटक गई है। अब तक बांदा जिले से एक छात्रा समेत तीन के यूक्रेन में फंसे होने की खबर मिली है।

शहर के सेढ़ू तलैया मोहल्ला निवासी सेवानिवृत्त प्राचार्य चुन्ना सिंह का छोटा पुत्र हेमेंद्र सिंह फरवरी 2019 में एमबीबीएस पढ़ाई के लिए यूक्रेन गया था। यूक्रेन के खारकीव में रहकर वीएन काराजिन खारकीव नेशनल यूनिवर्सिटी में तृतीय वर्ष का छात्र है। पिता चुन्ना सिंह के मुताबिक शनिवार को सुबह लगभग 8:30 हेमेंद्र का फोन आया था। उसने बताया था कि युद्ध शुरू होने के बाद वह अपने दोस्त के साथ मेट्रो टनल में शरण लिए है। मां शकुंतला से वीडियो काल पर बात की तो वह फफक पड़ीं। बेटे ने खुद के सुरक्षित होने का हवाला दिया। बताया कि रूस द्वारा युद्ध के दौरान किए गए साइबर अटैक से एटीएम बंद हैं। दोनों के पास मात्र तीन दिन का राशन बचा है। हास्टल छोड़ने से पहले उसने दलिया साथ ले लिया था। इसी से थोड़ा बहुत खाकर जिंदा हैं। वहीं जिले के बिसंडा कस्बे का नीरज गुप्ता, शहर में रहने वाले ग्राम पंचायत अधिकारी रफीक मंसूरी की बेटी अलीशा मंसूरी के भी यूक्रेन में फंसे होने की खबर मिली है। सभी एमबीबीएस छात्र-छात्राओं के परिजनों ने पीएम मोदी से बच्चों को वापस बुलाने की गुहार लगाई है।

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