एसडीएम के स्थानांतरण की मांग पर अड़े व्यापारी
मानक दरकिनार करने के एमडीएम पर आरोप
अतर्रा। कस्बे में अतिक्रमण से हर दिन लगने वाले जाम की समस्या को दूर करने के लिए नगर पालिका व प्रशासन सड़क पर उतरा। नेशनल हाइवे पर दस्ता बुल्डोजर लेकर अतिक्रमण हटाने पहुंचा। कार्रवाई के दौरान व्यापारियों व एसडीएम में तीखी झड़प के साथ जमकर तू-तू-मैं-मैं हुई। निंदा प्रस्ताव पारित करते हुए व्यापारी एसडीएम के स्थानांतरण की मांग पर अड़ गए। चेतावनी दी कि एसडीएम का स्थानांतरण न होने तक प्रशासन की बैठकों का व्यापारी बहिष्कार करेंगे।
गौरतलब है कि थाना परिसर में कस्बे में अतिक्रमण हटाए जाने को लेकर एसडीएम विजय प्रकाश तिवारी, सीओ अतर्रा अंबुजा त्रिवेदी व नगर पालिका अधिशासी अधिकारी राम सिंह के बीच उद्योग व्यापार मंडल पदाधिकारियों व व्यापारियों के बीच बैठक हुई थी। इसमें सहमति बनी थी कि मुख्य झांसी-मिर्जापुर नेशनल हाइवे के मध्य से दोनों ओर 30 फिट तथा नरैनी रोड, स्टेशन रोड में 20 फिट अतिक्रमण हटाया जाएगा। सहमति बनने के बाद पालिका प्रशासन ने अतिक्रमण का चिन्हाकन करते हुए प्रचार-प्रसार किया। नतीजे में व्यापारियों ने खुद ही अपना अस्थाई अतिक्रमण स्वयं हटा लिया।
मंगलवार को एसडीएम की अगुवाई में नेशनल हाइवे स्थित केन नहर से एसडीएम की अगुवाई में अतिक्रमण हटाओ अभियान शुरु हुआ। अतिक्रमण हटाने को साथ में पालिका का बुलडोजर व भारी पुलिस फोर्स रहा। पटरी पर लगीं दुकानों की गुमटी, तख्त व ठेला पालिका के कर्मचारी ट्रैक्टर पर लादा गया। जेसीबी लगाकर अतिक्रमण तोड़ा जाता रहा। इससे हड़कंप मचा रहा। हर कोई अपना अतिक्रमण हटाने के लिए भागदौड़ करता रहा। अतिक्रमण हटाने का दस्ता कुछ आगे पहुंचा। जहां व्यापारियों ने नगर पालिका के कर्मचारियों को घेरते हुए कार्रवाई का विरोध शुरू कर दिया। देखते ही देखते काफी संख्या में व्यापारी एकत्र होकर कार्रवाई पर नाराजगी जताने लगे। व्यापारियों का कहना था कि निर्धारित मानक के बाद भी प्रशासन व्यापारिक प्रतिष्ठानों को गिरा रही है। व्यापार मंडल पदाधिकारी व कुछ मीडिया के लोग ने एसडीएम से निर्धारित किए गए मानक पर गिराए जाने की बात कही, तो उन्होंने किसी की बात को न सुनते हुए हिरासत में लेने की धमकी दी। व्यापारी नेताओं से अभद्रता की। एसडीएम की तानाशाही व अभद्रता से नाराज उद्योग व्यापार मंडल अध्यक्ष उमाशंकर गुप्ता व युवा व्यापार मंडल अध्यक्ष अवधेश गुप्ता की अगुवाई में व्यापारियों ने आक्रोश व्यक्त करते हुए निंदा प्रस्ताव पारित किया।
व्यापारियों का कहना है कि जब स्थानीय प्रशासन को अपने मनमुताबिक अतिक्रमण हटाना था तो पांच दिन पहले थाना परिसर में बैठक करने की जरूरत क्या थी ? निर्णय लिया कि मौजूदा एसडीएम का स्थानांतरण न होने तक व्यापारी किसी भी तरह की प्रशासन की बैठक में भाग नही लेंगे। उधर, एसडीएम का कहना है कि अतिक्रमण हटाने के दौरान किसी के साथ भेदभाव नहीं किया गया है। यह अभियान नियमित जारी रहेगा। चिन्हित स्थलों से ही अतिक्रमण हटाया गया है।