बरेली में एक अजीबो गरीब मामला सामने आया है। 1 साल से एक विकलांग शख्स अपने पैर के ऑपरेशन के लिए सरकारी अस्पताल में दर-दर की ठोकरें खाते हुए दिखा। कभी इस रैन बसेरे में तो कभी उस रैन बसेरे में रहकर अपनी बारी का इंतजार कर रहा था लेकिन भगवान कहे जाने वाले डॉक्टरों के कानों में जू तक नहीं रेंगी, अगर इस तरह से सब बेपरवाह बन जाएं तो क्या होगा इस गरीब जनता का। आपको बता दें जिला अस्पताल बरेली के डॉक्टर बेलगाम हो चुके हैं जिन्हें ना ही उच्चाधिकारियों का डर है और ना ही सरकार का। 1साल से भटक रहे बाबा नरेश दास ग्राम कुंवरपुर करीमजान थाना क्यूलड़िया जिला बरेली के रहने वाले है।
बेसहारा बाबा को ठाकुर राहुल सिंह ने दिया सहारा
बरेली । बाबा कई बार सीएमएस के पास भी गया उनको फोन भी किया लेकिन डॉक्टरों ने उसकी हर पुकार अनसुनी कर दी। बाबा नरेश दास भटकते भटकते ज़िलाधिकारी बरेली के पास भी गया जिलाधिकारी ने मदद भी की और एक लेटर दिनांक 12 दिसंबर को सीएमओ को सूचित करते हुए दिया लेकिन फिर भी उस कागज को कचरे में डाल दिया गया और बाबा का ऑपरेशन नहीं हुआ। उधर बाबा नरेश दास का आरोप है कि हड्डी के डॉक्टर संजय सिंह के पास जब नरेश दास गया तो डॉ संजय सिंह ने उससे 30 हज़ार रुपये की डिमांड करते हुए उसको भगा दिया। जबकि इन डॉक्टरों को पगार तो गरीब और मजलूम लोगों के ईलाज कर लिए ही मिलती है।
वहीं जब पत्रकारों ने इस मामले की सच्चाई जानने की कोशिश की तो डॉक्टर संजय सिंह ने कहा कि इनका ऑपरेशन यहां पर संभव नहीं है इन्हें कई बार हम लखनऊ के लिए रेफर कर चुके हैं लेकिन यह वहां नहीं जाते और मेरे द्वारा इनसे कोई पैसा नहीं मांगा गया है। जब करणी सेना के जिलाध्यक्ष ठाकुर राहुल सिंह जब बाबा नरेश दास से मिलने गए तो उन्होंने सब वाक्या बताया इस पर करणी सेना जिलाध्यक्ष सीएमएस से मिले तो उन्होंने ईलाज करवाने का आश्वासन दिया ।
मगर कुछ नहीं हो पाया। इसके बाद ठाकुर राहुल सिंह ने जिलाधिकारी बरेली से मिलकर सारा वाक्या बताया तब मामले में मुख्यमंत्री से इलाज के लिए मदद की गुहार लगाई गई। मुख्यमंत्री की ओर से दी गई मदद के बाद आज बाबा को इलाज के लिए श्री राममूर्ति अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती किया गया है और बाबा नरेश दास इलाज की उम्मीद जागने के बाद ठाकुर राहुल सिंह की तारीफ करते नहीं थक रहे हैं।