कोरोना वायरस : सैलरी कटने के डर से प्राइवेट स्कूल जाने को मजबूर अध्यापक

कानपुर देहात । कोरोना के कहर ने प्रदेश सहित जनपद के लगभग सभी स्थानों को बंद करने का आदेश आ चुका है। 31 मार्च तक सरकारी और प्राइवेट सभी स्कूल बंद हैं पर प्राइवेट स्कूल में आने वाले अध्यापको को स्कूल प्रसाशन निजी कारणों से स्कूल बुला रहा है।

कोरोना एक ऐसा शब्द है जिसने 2020 में के देश और दुनिया मे कहर बरपा रखा है। चीन से शुरू हुआ यह कहर अब दुनिया के कई देशों में फैल चुका है। लगातर देश और प्रदेश के सरकार इससे लड़ने के लिए हर सम्भव कदम उठा रही है। बीते दिनों सरकार ने सभी सरकारी स्कूल और कॉलेज बन्द करने के आदेश दिए थे। सरकार के आदेश को मानकर कई स्कूल तो बन्द हो गए पर कई स्कूल अभी भी सरकार के निर्देशों की अवेहलना करके स्कूल खोल रहे हैं। सबसे बड़ी बात यह है कि स्कूल में आने वाले अध्यापक अपनी कहानी सुनाकर परेशान हैं।
नाम गुप्त रखने की बता करते हुऐ अध्यापकों ने बताया कि जिस तरह लोगों को कोरोना का डर है वह भी इसी भय में हैं, पर स्कूल प्रबंधन अपने निजी कारणों के चलते स्कूल में अध्यापकों को बुला रहे हैं। मंगलवार को सरकार द्वारा निर्देश दिए गए हैं कि सभी प्राइवेट कर्मी अपने घरों से ही काम करेंगे, लेकिन इसके बावजूद भी आज बुधवार को भी प्राइवेट स्कूलों के अध्यापकों को सिर्फ इस वजह से जाना पड़ रहा है कि उनकी सैलरी न कट जाए। इस भय से बिना मास्क और किसी सुरक्षा के स्कूल जा रहे हैं अध्यापक।

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