गोरखपुर । जेल प्रशासन ने आजीवन कारावास की सजा काट रहे गुरुवार को और तीन कैदियों की सूची डीजी जेल आनंद कुमार को भेज दी है। डीजी जेल ने इन कैदियों की सूची मांगी थी। इससे पहले भी डीजी जेल को जेल प्रशासन ने सात साल से कम सजा वाले 27 कैदियों की सूची भेजी थी। सभी को एक साथ लखनऊ से निर्देश मिलने के बाद जेल से छोड़ा जाएगा।
वरिष्ठ जेल अधीक्षक ने बताया कि आजीवन कारावास की सजा काट रहे आदर्श बंदियों की सूची मांगी गई थी जिनकी उम्र साठ वर्ष से ज्यादा हो चुकी है। जिसके बाद छंटनी कर हत्या के आरोप में आजीवन कारावास की सजा काट रहे आदर्श कैदी सुदामा, वंशबहादुर और शेषनाथ के नाम को भेजा है।
पहले भी भेजे गए 27 नाम
इससे पहले भी 27 कैदियों की सूची शासन को भेजी जा चुकी है। लखनऊ से निर्देश आने के बाद सभी को एक साथ छोड़ दिया जाएगा।
कोरोना खौफ है वजह
कोरोना के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए जेलों की ओवरलोडिंग की समस्या की संभावना बन रही है। इसको दूर करने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने सभी प्रदेशों के डीजी जेल को सात साल से कम सजा वाले, आजीवन कारावास के सजा वाले और आदर्श कैदियों को पेरोल पर छोड़ने को निर्देश दिया गया है। बशर्ते, इनकी उम्र 60 साल से ज्यादा होने चाहिए। छोटे मोटे मामलों में बंद बंदियों की सूची भी तैयार की जा रही है। इन सबको पेरोल और जिला न्यायालय की अनुमति से छोड़ने का निर्देश है।