भास्कर समाचार सेवा
मथुरा:जनपद न्यायाधीश राजीव भारती, जिलाधिकारी पुलकित खरे तथा वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अभिषेक यादव द्वारा आज जिला कारागार, मथुरा का संयुक्त रूप से निरीक्षण किया गया। इस अवसर पर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट राकेश सिंह, सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सोनिका वर्मा, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ अजय वर्मा, जेल अधीक्षक ब्रजेश कुमार, वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी उपेंद्र सोलंकी, चिकित्सा अधिकारी डा० उत्पल सरकार, जेलर महाप्रकाश सिंह, डिप्टी जेलर करुणेश कुमारी, श्रीमती शिवानी यादव व अनूप कुमार सहित जेल के अन्य कर्मचारीगण, जेल बंदीगण आदि उपस्थित रहे।
जिला कारागार मथुरा में आज निरीक्षण दौरान कुल 1848 बंदी निरूद्ध होना पाया गया। जिला कारागार चिकित्सालय के निरीक्षण दौरान पाया गया कि इस चिकित्सालय में 80 बंदी मरीजों का ईलाज किया जा रहा है, जिन्हें अलग-अलग बैरकों में रखा गया है। सभी बंदी मरीजों से पृथक-पृथक वार्ता की गई व सभी के स्वास्थ व ईलाज के बारे में जेल चिकित्सक डा० उपेंद्र सोलंकी से जानकारी ली गई। गर्मी से बचने हेतु इस चिकित्सालय में बंदी मरीजों के लिए कूलर व पंखे लगे हुए पाये गये। मनोरंजन हेतु एक टी.वी. लगा है, स्वच्छ पानी हेतु एक आर.ओ. लगा पाया गया।
जनपद न्यायाधीश राजीव भारती द्वारा निरीक्षण दौरान उपस्थित महिला व पुरुष बंदियों से उनके प्रकरणों के संबंध में वार्ता करते हुए, निशुल्क विधिक सहायता हेतु अधिवक्ता के सम्बंध में जानकारी ली गई, बदियों द्वारा बताया गया कि सभी के पास उनके व्यक्तिगत / सरकारी अधिवक्ता मौजूद हैं, बंदियों द्वारा खाने-पीने की कोई समस्या होना नहीं बताया गया। जिला कारागार में साफ-सफाई पाई गई। जनपद न्यायाधीश, जिलाधिकारी तथा वरिष्ठ पुलिस अधिकारी द्वारा अन्य न्यायिक व प्रशासनिक अधिकारियों के साथ महिला व पुरुष बैरकों, पुस्तकालय आदि का भी निरीक्षण किया गया। बैरकों में बंदियों के लिए पीने के पानी हेतु आर.ओ. लगे हैं, मनोरंजन हेतु टी.वी. लगी हैं, गर्मी से बचाव हेतु कूलर व पंखे लगे हैं। महिला बैरक के पास महिला बंदियों हेतु महिला चिकित्सालय व महिला बंदियों के साथ रह रहे बच्चों की शिक्षा हेतु शिक्षा कक्ष का निर्माण किया गया है। जिला कारागार में बंदियों को पोषाक बनाने हेतु सिलाई प्रशिक्षण केंद्र स्थापित किया गया है, जिसका उद्घाटन आज निरीक्षण दौरान माननीय जनपद न्यायाधीश राजीव भारती द्वारा फीता काटकर किया गया। इस केंद्र में बंदियों द्वारा पोषकें बनाने का प्रशिक्षण लिया जायेगा।