फतेहपुर । विकास खण्ड मलवां की ग्राम पंचायत औंग में जलजीवन मिशन योजना का बहुत बुरा हाल है, अस्सी प्रतिशत आबादी में पानी के कनेक्शन अभिलेखों में दिखा दिए गए हैं जबकि आधी आबादी में अभी तक पाइप लाइन नहीं डाली गई। बताने के लिए कहीं कहीं स्टैण्डपोस्ट खड़े कर दिए गए हैं जिन पर खर्च किया गया बजट मजबूत और भविष्य कमजोर है। नया वाटर हेड टैंक निर्माण शुरू होने के कारण वर्ष 2004 में 44 लाख 60 हजार रुपए की लागत से बनी पानी की टंकी की हालत भी नाजुक है। अचानक मौसम का मिजाज गरम और जलापूर्ति बाधित हो जाने के फलस्वरूप ग्रामीणों में पीने के पानी को लेकर त्राहि त्राहि मची हुई है। पुरानी पानी की टंकी से भी गांव में कहीं भी कनेक्शन नहीं हैं। वर्तमान ग्राम प्रधान ममता शुक्ला के कहने पर कस्बे के चौराहे में एक स्टैण्डपोस्ट लगाया गया है जिसमें भी पानी की आपूर्ति सुबह शाम नहीं हो पा रही है।
नई टंकी की लागत पांच करोड़ अस्सी लाख
आठ महीने पहले मजरा कीचकपुर में नई पानी की टंकी का निर्माण शुरू हुआ था जिसका लक्ष्य था कि दिसम्बर 2023 तक प्रत्येक घर में नल से पानी निकलेगा जो अभी तक सपना साबित हुआ है। 26 मार्च 2024 तक इस योजना में एक करोड़ 74 लाख 47 हजार रुपए खर्च कर दिए गए हैं। जिसमें गलत कार्यपूर्ति दर्शाकर बाउचर लगाने की कार्यवाही कर दी गई है। बस्ती में डाली गई पाइप लाइन की दशा अच्छी नहीं है। कागजों में कनेक्शन लेकिन हकीकत शून्य है। जल शक्ति विभाग के भ्रष्टाचार से जल जीवन मिशन का जनाजा निकल रहा है और विभाग के इंजीनियर चुपचाप बजट खपाने की गणित लगा रहे हैं।
विद्यालय व आंगनबाड़ी के फर्जी जल कनेक्शन
गांव के क्षेत्र पंचायत सदस्य अनिल गुप्ता ने बताया कि बेखौफ होकर जल निगम विभाग फर्जी प्रगति रिपोर्ट सरकार को प्रेषित कर बजट डकारने में लगा हुआ है। कस्बे व मजरा कीचकपुर की तीन आंगनबाड़ी केन्द्र तथा तीन विद्यालयों में पानी कनेक्शन के साथ हाथ धोने की भी व्यवस्था उपलब्ध कराए जाने की फर्जी रिपोर्टिंग की जा चुकी है । दलित घरों में फर्जी तौर पर 607 पानी के कनेक्शन दिखाए गए हैं जबकि हकीकत में कुछ भी नहीं है।
पानी की टेस्टिंग रिपोर्ट हवा हवाई
कस्बे के दीपू पाण्डेय के कथानानुसार पोखरी मुहल्ले में बदबूदार पानी पहुंच रहा है जिसके गड़बड़ पानी की जांच के लिए कस्बा औंग में अनीता, मुस्कानबानो, नफीशाबानो तथा शैरुन्नीषा को प्रशिक्षित दर्शाया जा रहा है जो समझ से परे है। इन्हें वाटर टेस्टिंग किट भी दी गई है जो किसी भी ग्रामीण ने अभी तक नहीं देखी है। 24 नवम्बर 2022 को उपरोक्त प्रशिक्षित महिलाओं के द्वारा किट के जरिए केमिकल एण्ड बैक्ट्रियोलाजिकल की जांच करके सेफ पानी की रिपोर्ट प्रेषित होना दिखाया जा रहा है तथा 19 अक्टूबर 2023 को फतेहपुर स्थित डिस्ट्रिक्ट लेवल वाटर एनालिसिस लेबोरेटरी यूपी जलनिगम के द्वारा भी उपरोक्त जांच रिपोर्ट लगा दी गई है जो पूरी तरह से हवा हवाई है। यही हाल मजरा कीचकपुर का है जहां पर अर्चना, भानुमती, बीना देवी, लक्ष्मी देवी तथा श्रृष्टि को वाटर टेस्टिंग किट अभिलेखों में थमाया जाना दिख रहा है।
क्या कहते हैं जिम्मेदार
ग्राम पंचायत की पानी टंकी की सुस्त कार्य प्रगति तथा भारी भरकम धनराशि खर्च होने के बाद भी जल निगम के कार्य ठीक नहीं हैं जो फर्जी साबित हो रहे हैं, इसकी शीघ्र ही जांच कराई जाएगी।
ममता शुक्ला ( ग्राम प्रधान –औंग )
अभी तक पुरानी टंकी से पानी की आपूर्ति चौराहे में हो रही थी जो गर्मी आते ही डगमगा रही है पीने के पानी की घोर किल्लत है।
अनिल गुप्ता ( क्षेत्र पंचायत सदस्य औंग )