फतेहपुर । जनपद में लाल सोने का काला कारोबार धड़ल्ले से किया जा रहा है, अवैध परिवहन से सड़कों की धज्जियां उड़ रही हैं। ओवरलोड मोरंग वाहनों की आवाजाही के चलते पहले से ही सवालों के घेरे में रहा बांदा टांडा मार्ग फिर से क्षतिग्रस्त होने लगा है। मोरंग कारोबारी ओवरलोडिंग रोकने के लिए हो रही प्रशासनिक निगरानी को ठेंगा दिखा रहे हैं। बिडंबना यह है कि कई थाना क्षेत्रों व तहसील मुख्यालय से निकल रहे ओवरलोड वाहनों पर लगाम लगाने के लिए जिम्मेदार सख्ती से कदम नहीं उठा रहे हैं। कभी कभार अभियान चलाकर ओवरलोड वाहनों को सीज कर चालान कर दिया जाता है लेकिन कुछ दिनों बाद ही ओवरलोडिंग फिर शुरू हो जाती है।
पांच लाख का जुर्माना पचास लाख की अवैध कमाई
बार बार जलधारा छेड़कर नियमों का उल्लंघन करने वाले खदान संचालक एक आध बार जलधारा छेड़ने का जुर्माना जमा कर देते हैं और अवैध खनन को अंजाम देते रहते हैं। अढावल कंपोजिट 1 व अढावल कंपोजिट 2 को खनिज विभाग के अफसरों का आशीर्वाद प्राप्त है तभी तो नियमो को दरकिनार कर दोनो खदानों में लूट मची है ! रामनगर कौहन खदान से आए दिन ओवरलोडिंग व जलधारा बाधित करने के वीडियो वायरल होते हैं लेकिन अफसर आंख बन्द किए रहते हैं।
रात दिन बेधड़क निकलते ओवरलोड वाहन
खदानो मे रात में प्रतिबंधित खनन, रात को ही जमकर किया जाता है खदानों से ही मोरंग लदे वाहनों की ओवरलोडिग को साफ तौर पर देखा जा सकता है। ओवरलोडिंग को रोकने के लिए सीसीटीवी कैमरा, धर्मकांटे, प्रशासनिक छापेमारी सब बौने साबित हो रहते हैं। मोरंग कारोबारियों को जिम्मेदारों का कोई भय नहीं है। यदि घाटों से ही ओवरलोडिंग रुक जाएगी तो सड़कों पर नहीं नजर आएगी। बताते हैं ओवरलोडिंग ही अवैध कमाई का जरिया है जिस पर लगाम लगाने में जिम्मेदार नाकाम हैं। इस बाबत खनिज अधिकारी सौरभ गुप्ता ने कहा कि जुर्माना जमा करने के लिए अढावल कंपोजिट वन के संचालक आलोक मिश्रा को नोटिस भेजी गई है जवाब न मिलने पर अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। ओवरलोड के खिलाफ अभियान चलाया जाएगा।