दैनिक भास्कर ब्यूरो ,
फतेहपुर। शिक्षा विभाग के पूरे सिस्टम को एक बाबू अपनी उंगलियों में नचा रहा है। जिला विद्यालय निरीक्षक कोई भी आये बाबू के जलवे में कोई कमी नही आई। मामूली वेतन पाने वाले बाबू की लाइफ स्टाइल देखकर कोई भी दंग रह जायेगा। लक्जरी गाड़ियों से चलने वाले इस बाबू की सिस्टम में ऐसी पकड़ है कि उसे कोई दशकों से जनपद से हिला भी नहीं पाया। अधिकारियों की जांच तो उसके लिए महज सामान्य बात है।
बाबू के खिलाफ जिस भी विभागीय अधिकारी ने कार्रवाई की कोशिश की वह स्वयं तबादले का शिकार हो गया। इस बाबू की शिकायत जिलाधिकारी सी इंदुमती से बड़े गांव मछरिया के रहने वाले पीयूष तिवारी ने की है। पीयूष तिवारी ने बाबू पर गंभीर आरोप लगाए हैं। पीयूष तिवारी ने आरोप लगाते हुए बताया कि बाबू विनोद श्रीवास्तव की तैनाती सहिली के एक इंटर कॉलेज में है लेकिन ये कभी कॉलेज नहीं जाते हैं।
जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय के बगल में स्थित स्काउट भवन में बैठकर ये पूरे कार्यालय को चलाते हैं। स्कूलों की मान्यता, सेंटर करवाना व विभाग के सभी महत्वपूर्ण कार्यों में इनका हस्तक्षेप रहता है। इनकी कई शहरों में करोड़ों की प्रापर्टी है। कई लक्जरी गाड़ियां भी हैं जो यूपी 32 नम्बर की हैं।
एक मामूली बाबू की इतनी संपत्ति कहां से आ गई। शिकायतकर्ता ने डीएम को बताया कि इनकी तैनाती पूर्व में जिला विद्यालय निरीक्षक के कार्यालय में रही है तभी से इनकी जड़ें कार्यालय में इतनी जम गई हैं कि इनको कोई हिला नहीं पा रहा। ये दशकों में जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय में तैनाती व बगैर तैनाती के जमे हैं।
शिकायतकर्ता के अनुसार अगर इनकी कॉल डिटेल जांच में शामिल हो जाये तो दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा। जिले के अधिकतर निजी विद्यालयों के प्रबंधक व प्रिंसिपल को बाबू से सम्बन्ध रखना मजबूरी है नहीं तो उनका काम लटका रहेगा। पीयूष ने बताया कि जिलाधिकारी ने मामले की जांच एडीएम को सौंपी है।
इस बाबत एडीएम अविनाश त्रिपाठी ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है जांच के दौरान जो तथ्य प्रकाश में आएंगे। उसी के अनुसार आगे की कार्रवाई की जाएगी।
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