उत्तर प्रदेश के हमीरपुर जिला मुख्यालय में एक ही परिवार के पांच लोगों की सामूहिक हत्या के मामले का शुक्रवार को शाम एडीजी कानपुर ने खुलासा कर दिया है। इस हत्याकांड में मृतक के बड़े भाई को गिरफ्तार कर लिया गया है। एडीजी ने पुलिस की दो टीमों को बीस-बीस हजार रुपये का इनाम दिये जाने का ऐलान किया है।
हमीरपुर नगर के कानपुर-सागर नेशनल हाइवे-34 पर रानी लक्ष्मीबाई मुहाल में गुरुवार को रात नूर बख्श के घर में पांच शव बरामद किये गये थे। रईस (30) पुत्र नूर बख्श, श्रीमती रोशनी खातून (28) पत्नी रईस, श्रीमती शकीना (85) पत्नी नोखे खां, आलिया (3) पुत्री रईस, रोशनी (15) पुत्री अल्ताफ को लोहे के हथौड़े से मौत के घाट उतारा गया था। एडीजी कानपुर प्रेम प्रकाश सिंह ने पुलिस लाइन के सम्मेलन कक्ष में बताया कि नूर बख्श के बड़े पुत्र नफीस ने ही यह घटना अकेले की है। उसने सबसे पहले छोटे भाई रईस की हत्या की फिर दादी शकीना की हत्या की। दूसरे कमरे में सो रही रोशनी और उसकी बच्ची को भी इसी ने मार डाला। बाद में नफीस ने अपनी भांजी रोशनी को भी मौत के घाट उतार दिया है। एडीजी ने बताया कि यह घटना दोपहर दो बजे से तीन बजे के बीच की गयी थी। हत्या के बाद इसने अपने कपड़े घर पर जलाये और फिर ये घर से बाहर निकल गया था।
उन्होंने बताया कि नफीस ट्रक चालक था जो गोरखपुर से आकर इसने घर में खाना बनाने को लेकर भाई से झगड़ा किया था। घटना को अंजाम देने के बाद नफीस बिंवार में अपनी ससुराल में साली की शादी में शामिल होने गया था। एडीजी ने बताया कि पांच लोगों की हत्या में नफीस ने अपना जुर्म भी स्वीकार कर लिया है। ये घटना सम्पत्ति को लेकर की गयी है। एडीजी ने बताया कि घटना का खुलासा सदर कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक केपी सिंह व स्वाट टीम निरीक्षक बृजेन्द्र चन्द्र यादव ने अपनी टीम के साथ किया है। इन दोनों टीम को बीस-बीस हजार रुपये का ईनाम दिया जायेगा। इस मौके पर डीआईजी एके राय, पुलिस अधीक्षक
हेमराज मीणा व अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
घटना से पूर्व भांजी के बांधे थे हाथ पांव
कानपुर के एडीजी प्रेम प्रकाश सिंह ने बताया कि नफीस ने शराब पीकर घर गया और भांजी से अच्छा खाना बनाने को कहा। इसी में छोटे भाई रईस ने मना कर दिया। इसी बीच नफीस की हथोड़े से कर दी। घटना के बाद नफीस ने अपनी भांजी रोशनी को हाथ पांव बांध दिये वह रोती रही लेकिन ये नहीं माना। गमछे से भांजी का मुंह भी बांध दिया। इसी बीच बच्ची के आ जाने पर उसे मौत के घाट उतारा फिर सभी को मारने के बाद भांजी को सबूत मिटाने के लिये मौत के घाट उतार दिया था।
बस दुर्घटना में आरोपित गया था जेल
एडीजी पीपी सिंह ने बताया कि सामूहिक हत्याकांड में गिरफ्तार नफीस पहले रोडवेज का संविदा चालक था जिसकी लापरवाही से बस दुर्घटना में मूसानगर कानपुर देहात में पांच लोगों की मौत हुयी थी जिसमें वह दो माह तक जेल में बंद रहा था। इसके बाद वह ट्रक चलाने लगा। एडीजी ने बताया कि नफीस ने इसके अलावा दिल्ली से बोलेरो जीप की चोरी में जेल गया था। उन्होंने बताया कि नूर बख्श ने नफीस को अतिरिक्त मदद भी की थी। यह इतना शातिर था कि अकेले इतना बड़ा कांड कर दिया।
पोस्टमार्टम के बाद शवों को कब्रिस्तान में दफनाये गये शव
उत्तर प्रदेश के हमीरपुर में पांच लोगों की सामूहिक हत्या के बाद शुक्रवार को रात चार शवों को यहां कब्रिस्तान में दफन कर दिया गया। चार शवों को देख लोगों की आंखें भर आयी वहीं घर और रिश्तेदारों के आंसू भी नहीं थम रहे थे। सुरक्षा के भारी बंदोबस्त के बीच चार शवों की अर्थी निकाली गयी।इस घटना के करीब 20 घंटे बाद तीन डाक्टरों के पैनल से शवों का पोस्टमार्टम कराया गया। पोस्टमार्टम के बाद देर शाम पांच शव परिजनों को सौंप दिये गये।
इनमें भांजी रोशनी का शव परिजन अपने घर ले गये। वहीं रईस, उसकी पत्नी रोशनी, दादी शकीना, पुत्री आलिया (3) के शव को अलग-अलग ताबूत में रखकर पहले अमन शहीद मस्जिद के पास ले जाया गया भारी पुलिस बल के साथ चारों शवों को कब्रिस्तान ले जाकर अंतिम संस्कार करने की तैयारी शुरू कर दी गयी है। कब्रिस्तान में एक ही परिवार के चारों शवों को देख मौजूद लोगों की आंखें भर आयी। शवों के अंतिम संस्कार के दौरान हजारों लोग मौजूद रहे। भाजपा के पदाधिकारी व दर्जा प्राप्त मंत्री बाबूराम निषाद के अलावा पुलिस प्रशासन के अधिकारी भी मौजूद रहे।