कानपुर। कोतवाली थाना क्षेत्र के किताब मार्केट के पास मर्केंटाइल बिल्डिंग की तीसरी मंजिल में स्थित कपड़ों के गोदाम में सोमवार देर रात शॉर्ट सर्किट से भीषण आग लग गई। आग ने कुछ ही देर में चौथी मंजिल में स्थित गोदामों को चपेट में ले लिया। इन गोदामों के बीच में खाली कमरों में रहने वाले मेट्रो निर्माण में लगे 250 मजदूरों ने किसी तरह भाग कर अपनी जान बचाई। इस दौरान चार मजदूर आग की चपेट में आकर झुलस गए। सूचना पर पहुंची फायर ब्रिगेड की 12 गाड़ियों ने ढाई घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। आग से हुए नुकसान का आकलन नहीं लगाया जा सका है। उर्सला अस्पताल के पीछे स्थित पांच मंजिला इमारत को मर्केंटाइल बिल्डिंग के नाम से जाना जाता है। इस किताब मार्केट के पास स्थित इस कॉमर्शियल भवन के ग्राउंड फ्लोर पर दुकानें व गोदाम हैं।
आग की लपटें निकलती देख मजदूरों में मची चीख पुकार
दूसरे, तीसरे, चौथे और पांचवीं मंजिल पर व्यापारियों ने कपड़ों, कॉपी किताबों, प्लास्टिक के सामान के गोदाम व कारखाने बना रखे हैं। तीसरी और चौथी मंजिल पर मेट्रो निर्माण में लगे मजदूर भी रहते हैं। मजदूरों ने बताया कि देर रात करीब 11 बजे तीसरी मंजिल पर स्थित कपड़े के एक गोदाम से धुआं और आग की लपटें निकलती देख मजदूरों में चीख पुकार मच गई।तभी आग की लपटों ने पूरे गोदाम को चपेट में ले लिया। वहीं, पास ही स्थित अन्य गोदाम भी चपेट में आने लगे। आग चौथी मंजिल पर स्थित गोदामों तक भी पहुंच गई। मजदूरों ने किसी तरह से भागकर अपनी जान बचाई। आग से चार मजदूरों में सर्वेश कुमार, सर्वेश गुप्ता, दिनेश कुमार और नरेंद्र कुमार झुलस गए, जिन्हें अग्निशमन कर्मियों ने उर्सला अस्पताल में भर्ती कराया।
12 गाड़ियों ने आग पर पाया काबू
सीएफओ दीपक शर्मा ने बताया कि किताब मार्केट के पास स्थित कॉमर्शियल भवन में शॉर्ट सर्किट से आग की सूचना पर पहुंचीं अग्निशमन की 12 गाड़ियों ने आग पर काबू पाया है। कपड़ों के गोदाम किसके हैं, पता नहीं चल सका है। समय रहते आग पर काबू न पाया जाता, तो पूरा संवेनशील इलाका आग की चपेट में आ जाता है। कारणों की जांच चल रही है।
बिल्डिंग में भरा धुंआ, अंदाजे से भागे मजदूर, जान बचान के लिए किया कूदने का प्रयास
आग लगने की खबर से बिल्डिंग में रहने वाले मजदूरों में अफरा तफरी मच गई। सभी अपनी जान बचाने के लिए सीढि़यों की तरफ भागने लगे, लेकिन बिल्डिंग में अंधेरा और धुंआ भर जाने के कारण लोग अंदाजे से एक दूसरे से टकराते हुए गिरते पड़ते किसी तरह बाहर निकले। वहीं, कुछ मजदूर जान बचाने के लिए बिल्डिंग की छत से बाहर की तरफ लटक गए। पांचवीं मंजिल पर रहने वाले मजदूर भी घबराकर आसपास के भवनों की छत पर कूद गए और किसी तरह नीचे उतरे। तीसरी और चौथी मंजिल के मजदूरों ने छत से नीचे कूदने का प्रयास किया, जिन्हें बाहर खड़ी भीड़ ने रोककर अग्निशमन की मदद से नीचे उतरवाया।