गाजियाबाद । देश को झकझोर देने वाले निठारी नरकंकाल कांड के एक ओर मामले.में सीबीआई के विशेष न्यायाधीन अमितवीर सिंह ने मुख्य आरोपी सुरेंद्र कोली को दोषी करार दिया है। अदालत ने सजा पर बहस के लिए कल यानि शनिवार की तारीख निश्चित की है। अभी तक निठारी कांड के दस मामलों में सीबीआई कोर्ट दस मामलों में सजा सुना चुकी है जिसमें नौ में कोली को फांसी की सजा सुना चुकी है। हालांकि एक मामले में हाईकोर्ट ने सीबीआई कोर्ट के फैसले को पलटते हुए उम्र कैद में परिवर्तित कर दिया था।
जिस मामले में सीबीआई कोर्ट ने सुरेंद्र कोली को दोषी ठहराया है वह एक 14 वर्षीय किशोरी का अपहरण कर हत्या करने और उसका मास खाने के आरोप का है। अभियोजन पक्ष के मुताबिक इस मामले में सीबीआई ने नौ अप्रैल 2008 को चार्जशीट दाखिल की थी। सीबीआई ने अपनी चार्जशीट में कहा था कि सुरेंद्र कोली ने नोएडा के सेक्टर 31 स्थित डी-5 कोठी के सामने से 15 मार्च 2005 को इस किशोरी का अपहरण किया था और उसके साथ दुराचार करने का प्रयास किया था।
इतना ही नहीं उसने किशोरी के शव को क्षत-विक्षत कर दिया था और उसकी चेस्ट का मास पकाकर खाया था। अदालत में मामले की सुनवाई कुल 270 दिन सीबीआई कोर्ट में चली और अदालत ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद गुणदोष के आधार पर सुरेंद्र कोली को दोषी ठहराया और सजा पर सुनवाई के लिए शनिवार की तारीख निश्चित की।
–निठारी पर मामले पर एक नजर
निठारी कांड मई 2005 में सुर्खियों में आया था और उस इस घटना ने पूरे देशको झकझोर के रख दिया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए सीबीआई जांच के
आदेश दिए गए थे। सीबीआई ने पूरे मामले की जांच के बाद कुल 19 मामलों में प्राथमिकी दर्ज कराई थी। जिसमें दो में सीबीआई ने अदालत में अंतिम रिपोर्ट लगा दी थी जबकि 17 में अदालत में चार्जशीट दाखिल की थी। किशोरी का मामला उन्हीं में से एक था। इस मामले में अभी तक सीबीआई कोर्ट कुल दस
मामलों में सुजा सुना चुकी है। जिसमें नौ में कोली को फांसी की सजा सुनाई जा चुकी है। एक मामले में कोली के साथ डी -5 कोठी के मालिक मनेंद्र सिंह पंधेर को भी फांसी की सजा सुनाई थी लेकिन हाईकोर्ट ने इसे उम्रकैद में तब्दील कर दिया था। इन सभी मामलों में सीबीआई की ओर से वरिष्ठ लोकअभियोजकजेपी शर्मा ने पैरवी की।