अयोध्या । पांच जुलाई,2005 को रामजन्मभूमि पर हुए फिदायीन आतंकी हमले की 14वीं बरसी पर शुक्रवार को जनपद अयोध्या का सुरक्षा घेरा काफी मजबूत रहा। सम्पूर्ण अधिग्रहीत परिसर समेत पूरी रामनगरी कड़ी सुरक्षा में जकड़ी हुई है। रामनगरी में प्रवेश के सभी मार्गों पर स्थानीय पुलिस के साथ अधिकारी कर्मचारी आने-जाने वाले चार पहिया वाहनों की सघन चेकिंग और पर्यटकों के सामान की जांच कर उनसे पूछताछ भी कर रहे हैं। सुबह से ही अयोध्या में नया घाट बंधा तिराहा, रानोपाली तिराहा, टेढ़ी बाजार, राम जन्मभूमि प्रवेश मार्ग, बूथ नंबर-4 प्रवेश मार्ग सहित अयोध्या में प्रवेश के अन्य मार्गों पर पुलिस सुरक्षा व्यवस्था का निरीक्षण वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक आशीष तिवारी कर रहे हैं। इसके साथ नगर के होटल, धर्मशाला और रेलवे स्टेशन पर पुलिस के जवान तलाशी ले रहे हैं। खुफिया एजेंसियों आईबी, एलआईयु के लोग संदिग्ध व्यक्तियों पर बराबर अपनी नजर गड़ाए हुए हैं।
उल्लेखनीय है कि पांच जुलाई,2005 को राम जन्मभूमि परिसर निकट कौशलेश कुंज के संस्कृत महाविद्यालय के पास लश्कर ने एक बड़ा फिदायीन आतंकी हमले को अंजाम दिया था। इसमें लश्कर के पांच आतंकियों ने मेक शिफ्ट स्ट्रक्चर में विराजमान रामलला को रॉकेट लॉन्चर से उड़ा देने की योजना बनाई थी। सीआरपीएफ और स्थानीय सुरक्षा बल के जवानों की कड़ी मेहनत के चलते ये फिदायीन आतंकी हमला सफल नहीं हो सका था। इस हमले में बड़ी जवाबी कार्रवाई करते हुए सीआरपीएफ ने पाकिस्तान के रहने वाले पांचों आतंकियों को मार गिराया और हमले को नाकाम किया था।
हमले में दो स्थानीय नागरिक भी हताहत हुए थे और कुछ पुलिसकर्मियों को चोटे भी आई थी। इसी मामले में बीते माह प्रयागराज न्यायालय ने फिदायीन हमले को अंजाम देने में मदद करने वाले चार अन्य आतंकियों को घटना में शामिल होने के आरोप में आजीवन कारावास की सजा के साथ एक को बरी किया है।