भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस तथा अन्य विपक्षी दल गुरुवार को बाबासाहेब भीमराव आम्बेडकर के मुद्दे पर संसद भवन परिसर में धक्का-मुक्की तक हो गई। इसमें भाजपा सांसद व पूर्व मंत्री प्रताप चंद्र सारंगी घायल हो गए। उनके माथे पर चोट लगी और वहां से खून निकलने लगा। जिसके चलते उन्हें तत्काल एबुंलेंस से अस्पताल ले जाया गया। आरोप है कि संसद भवन के मकर द्वार पर प्रदर्शन कर रहे भाजपा सांसदों से नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी उलझ पड़े। राहुल गांधी ने संसद भवन में प्रवेश करने के चलते एक सांसद को धक्का दे दिया, वे आगे खड़े प्रताप चंद्र सारंगी के ऊपर गिरे, जिससे सारंगी चोटिल हो गई।
व्हील चेयर पर बैठकर एबुंलेंस तक जाते हुए सारंगी ने कहा, “मैं सीढ़ियों के पास खड़ा था, राहुल गांधी आए और उन्होंने एक सांसद को धक्का दिया, जो मेरे ऊपर गिर गया, जिससे मैं भी गिर पड़ा।”
धक्का-मुक्की पर राहुल गांधी का जवाब
स्वयं राहुल गांधी ने मीडिया से बातचीत में स्वीकार किया कि वे संसद भवन के भीतर जाना चाहते थे। उन्होंने कहा “मैं संसद के अंदर जाने की कोशिश कर रहा था। लेकिन भाजपा के सांसद मुझे रोकने की कोशिश कर रहे थे, धक्का दे रहे थे और धमका रहे थे। ये संसद है और अंदर जाना हमारा अधिकार है।”बताया जा रहा है कि राहुल गांधी ने फरूूुखाबाद से सांसद मुकेश राजपूत को धक्का दिया और वे प्रताप चंद्र सारंगी पर गिरे थे। मुकेश राजपूत को अचेतावस्था में आईसीयू में भर्ती कराया गया है।
राज्यसभा में नागालैंड से भाजपा सदस्य एस फान्गनॉन कोन्याक ने राहुल गांधी के धक्का मुक्की करने का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी उनके बहुत करीब आ गए थे। इस पर सभापति ने कहा कि वे उनसे मिलने भी आईं थी और वे इस विषय को देख रहे हैं। इस मुद्दे को संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू और नेता सदन जेपी नड्डा ने भी सदन में उठाया। उन्होंने कहा कि हमारे दो सांसद घायल हुए हैं और एक को अस्पताल जाना पड़ा है। राहुल गांधी को इसके लिए माफी मांगनी चाहिए।
दूसरी ओर कांग्रेस ने भी भाजपा सांसदों पर आरोप लगाए। कांग्रेस नेता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि भाजपा सांसद अराजकता पैदा करने, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को निशाना बनाने और उन पर हमला करने के इरादे से पहुंचे। जैसे ही वह अंदर घुसे भाजपा सांसदों ने उन्हें धक्का दिया, जिससे उनका संतुलन बिगड़ गया। खड़गे पर यह खुला हमला भाजपा की दलित विरोधी मानसिकता का परिचायक है।
इससे पहले कांग्रेस नेता राहुल गांधी नेतृत्व में आज संसदीय दल की बैठक हुई। बाद में आईएनडीआईए गठबंधन के सांसदों ने संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन किया। विपक्षी सांसदों ने डॉ भीम राव अम्बेडकर की मूर्ति से लेकर संसद के मकर द्वार तक मार्च निकाला। उन्होंने हाथ में पोस्टर पकड़े हुए थे और जय भीम के नारे लगा रहे थे।
इसी बीच कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने पत्रकार वार्ता कर कहा कि उन्होंने राज्यसभा की कार्यवाही में अमित शाह के बयान को पढ़कर सुनाया जिसमें वे कह रहे हैं, “मान्यवर, अभी एक फैशन हो गया है- ‘अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर, अंबेडकर। इतना नाम अगर भगवान का लेते तो सात जन्मों में स्वर्ग मिल जाता।” श्रीनेत ने कहा कि ये शब्द गृह मंत्री अमित शाह ने देश के सदन में कहे हैं। इस वक्तव्य को किसी प्रकार से तोड़ा- मरोड़ा नहीं गया है। इस वक्तव्य का साक्ष्य राज्य सभा की वेबसाइट पर है। अमित शाह को इस अक्षम्य अपराध के लिए देश से माफी मांगनी चाहिए।