सुल्तानपुर : पशु तस्करी के लिए बांधे गये पशुओं को भेजा गया गौशाला

सुलतानपुर। पशु तस्करों का कैपिटल बन चुके कूरेभार थाना क्षेत्र के एक गांव से एसडीएम सदर चन्द्र प्रकाश पाठक ने पुलिस बल के साथ पहुंचकर पशु तस्करी के लिए बाग में इकट्ठा किए गए प्रतिबन्धित दर्जनों पशुओं को मुक्त कराकर उन्हें गौशाला भेजवाया। एसडीएम ने बाग में बंधे भूख प्यास से ब्याकुल दर्जनों पशुओं की जानकारी पर खण्ड विकास अधिकारी धनपतगंज को उक्त बंधे पशुओं को मुक्त कराकर गौशाला भेजवाने का निर्देश दिया। जिस पर बीडीओ संदीप सिंह मातहत कर्मचारियों के साथ उस बाग में पहुंचकर पशुओं को मुक्त कराते हुए उन्हें गौशाला पहुंचवाया।

पशु तस्करों और उनके शरणदाताओं की हो रही तलाश

इस बरामदगी के बाद स्थानीय पुलिस पर उंगलियां उठ रही हैं। लोगों का कहना है कि बिना पुलिस के सहयोग के पशु तस्कर बाग में तीन दिन लगातार दर्जनों पशुओं को बांधकर नहीं रख सकते। पुलिस की भूमिका पर लोगों ने सवाल उठाते हुए कहा है कि आखिर इस बात की पुलिस को जानकारी कैसे नहीं हुई और पेड़ कटने की जानकारी तुरन्त हो जाया करती है।

मामला कूरेभर थाना क्षेत्र के धनजई गांव का है। जहां अपराह्न खंड विकास अधिकारी धनपतगंज मातहत कर्मचारियों के साथ उस बाग में पहुंचे जहां बीते तीन दिन से दर्जनों गाय व गोवंश बंधक बनाए गए थे। तस्करों के द्वारा जिन्हें रातों रात हटाने की जुगत चल रही थी। मंसूबे सफल होते इससे पहले ही उप जिलाधिकारी सदर का हंटर चल गया। खंड विकास अधिकारी बाग में पहुंचकर गायों व गोवंशों को बंधन मुक्त कराया।

खण्ड विकास अधिकारी सन्दीप सिंह ने बताया कि इन्हें वाहन से पीरो सरैया गौशाला भेजा जा रहा है। ज्ञातव्य हो कि कूरेभार थाना क्षेत्र इन दिनों अवैध कारोबार एवं गौ तस्करों के लिए मुफीद साबित हो रहा है। अधिकांश किसान छुट्टा जानवरों से अपनी फसल चैपट होने से परेशान हैं। लिहाजा घूम रहे मवेशियों से पीछा छुड़ाना चाहते हैं। वही जिम्मेदार मुलाजिम सब कुछ जानकर भी अनजान बन गए हैं।

परिणाम स्वरुप पशु तस्करों की चांदी है। इनका बड़ा नेटवर्क है। सूत्रो की माने तो चंद रुपयों की लालच देकर मजदूरों व ग्रामीणों से पहले छुट्टा मवेशियों को किसी सुनसान जगह पर इकट्ठा कराते हैं। फिर जिम्मेदार महकमें की मुट्ठी गरम करके रातों रात ट्रकों पर लादकर गंतव्य को रवाना हो जाते हैं। तीन दिन पहले धनजई गांव के समीप कटीली झाडि़यों में लगभग 4 दर्जन मवेशियों को इकट्ठा कर बाधा गया था। जिन्हें रात में लोड होना था।

भनक पर पहुंची डायल 112 पुलिस ने जहां पूरा खेल बिगाड़ दिया। लादे गए एक गोवंश समेत ट्रक को स्थानीय थाने में खड़ा कराकर अपनी जिम्मेदारी से इतिश्री कर ली। उधर बांधे गए जानवर भूख व प्यास से तड़प रहे थे। मामला उप जिलाधिकारी सदर के संज्ञान में आया तो जिम्मेदार कर्मियों को फटकार लगाई। एसडीएम ने सख्ती बरती तो मामले से अंजान बने मुलालिम एक्शन में आ गए।

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